कनाडा में गिरफ्तार किए गए 950 पंजाबी स्टूडेंट्स को नहीं मिलेगी PR! 20 घंटे की जगह 30 घंटे कर रहे थे काम
लखनऊ: कनाडा पढ़ने गए छात्रों पर एक बड़ी गाज गिरी। दरअसल, हाल ही में कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया में बॉर्डर सिक्योरिटी एजेंसी ने 187 स्थानों पर छापेमारी कर 950 भारतीय युवाओं को गिरफ्तार किया है, जो अवैध रूप से काम कर रहे थे। इनमें सबसे अधिक संख्या पंजाबी युवाओं की है, जिससे चिंता बढ़ रही है। कनाडा की बॉर्डर सिक्योरिटी ने उन 187 संस्थानों पर भी कार्रवाई की है जो छात्रों से अवैध रूप से काम करवा रहे थे। इन संस्थानों पर अब लाखों डॉलर का जुर्माना लगाया गया है। छात्र, जिन्हें वीज़ा शर्तों के अनुसार हफ्ते में केवल 20 घंटे काम करना चाहिए, वे पैसे की जरूरत के कारण 30- 40 घंटे तक काम कर रहे थे।
मेहनत ज्यादा सैलरी कम
कनाडा में स्टूडेंट वीज़ा पर काम करने वाले छात्रों को कम से कम 35 डॉलर प्रति घंटे के हिसाब से वेतन मिलना चाहिए। हालांकि, इन छात्रों को केवल 15-20 डॉलर प्रति घंटे दिए जा रहे थे, जिससे उनकी स्थिति बदतर हो गई। लेकिन मजबूरी में छात्र ज्यादा घंटे काम कर रहे थे, जो कि नियमों के खिलाफ है।
कनाडा में काम के लिए न्यूनतम वेतन 35 कनाडाई डॉलर प्रति घंटा निर्धारित किया गया है। हालाँकि, भारतीय छात्रों को सप्ताह में 40 घंटे से अधिक काम करने के लिए मजबूर किया जाता था, जिसमें से केवल 20 घंटे ही वैध थे। बाकी घंटों के लिए उन्हें कम दर पर भुगतान किया जाता था, जिससे भारतीय छात्रों की स्थिति असुरक्षित हो गई थी।
कनाडा की इकॉनमी में हाल ही में जून 2023 में 1,400 नौकरियों का नुकसान हुआ, जिससे बेरोजगारी दर 6.4% तक बढ़ गई, जो पिछले 29 महीनों में सबसे अधिक है। इस गिरावट ने रोजगार के बाजार को प्रभावित किया है, जिससे इंटरनेशनल स्टूडेंट्स पर भी सख्ती की जा रही है।
देश में अप्रवासियों की संख्या घटाने की घोषणा
वहीं, ट्रूडो सरकार ने देश में अप्रवासियों की संख्या घटाने की घोषणा की है। ऐसे में अवैध रूप से काम करने के कारण इन छात्रों के PR के आवेदन पर संकट आ गया है। इस स्थिति के कारण कनाडा में उनके भविष्य पर दीर्घकालिक नकारात्मक प्रभाव पड़ सकते हैं।
PR मिलने में हो सकती है दिक्कत
अवैध रूप से काम करने के कारण अब इन छात्रों के पीआर (Permanent Residency) आवेदन पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है। कनाडा सरकार इन मामलों में सख्त कार्रवाई करने के मूड में है, जिससे इन युवाओं के भविष्य पर गहरा असर पड़ सकता है। यह कार्रवाई उन सभी विदेशी छात्रों के लिए एक चेतावनी है जो अवैध रूप से काम कर रहे हैं।