अतिरिक्त शुल्क के बिना बांट देते है गाड़ी का वीवीआईपी नंबर
एजेंसी/ लगजरी गाड़ी खरीदते वक्त हर किसी की ख्वाहिश होती है कि उसकी गाड़ी का नंबर वीवीआईपी नंबरों की तरह कुछ खास हो. ऐसे नंबरों के लिए राज्य सरकार ने च्वाईस नंबरों के शुल्क निर्धारित कर रखे है. जो टैक्स के रूप में सरकार के खाते में जमा होते है, लेकिन परिवहन विभाग के अधिकारियों की मिली भगत के हजारों रुपए के वीवीआईपी नंबर बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के मुफ्त में ही बांट दिए गए. जिससे सरकार को करोड़ों रुपए के राजस्व का नुकसान हुआ है.
ब्लैक लिस्टेड कर वसूलेंगे टैक्स विभाग के इस कारनामे के बाद अधिकारी अब यह कह रहे है कि जिस भी वीवीआईपी नंबरों को बिना शुल्क लिए नंबर अलाट किए गए है. उन्हें अब ब्लैक लिस्टेड कर टैक्स वसूला जाएगा. परिवहन विभाग की करतूत, वीवीआईपी नंबरों की बंदरबाट 5 हजार से 1 लाख रुपए है.
अब ऑनलाइन शुल्क जमा किए बिना किसी भी गाड़ी का रजिस्ट्रेशन संभव नहीं है, लेकिन 2014 के पहले की ऐसी हजारों गाड़ियां है जिनके वीवीआईपी नंबर बिना शुल्क लिए ही दे दिए गए.
एक नजर उन वीवीआईपी नंबरों पर जो अधिकारियों ने मुफ्त में बांट दिए. सीजी 04 सीजे 0001, सीजी 04 सीबी 0001, सीजी 04 सीबी 8888, सीजी 04 सीजेड 0001, सीजी 04 एचबी 0001. मुफ्त में बंटे इन नंबरों की फेहरिस्त लंबी है. बहरहाल परिवहन विभाग के अफसरों ने राज्य सरकार को लाखों को चूना लगा दिया है.