अजीत डोभाल ने दिया बड़ा बयान, ‘भारत में सबके लिए समान अवसर, किसी धर्म को खतरा नहीं’
नई दिल्ली : राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि भारत में दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है। अजीत डोभाल ने कहा कि आज के भारत की इमारत समान अवसरों के सिद्धांतों पर बनी है। उन्होंने कहा कि भारत में विभिन्न संस्कृतियों, भाषाओं और धर्मों का मिश्रण है। उन्होंने कहा कि भारत में कोई धर्म खतरे में नहीं है।
यह बात राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार डोभाल ने इंडिया इस्लामिक कल्चरल सेंटर के एक कार्यक्रम में कही। पांच दिनों की यात्रा पर पहली बार मंगलवार को भारत पहुंचे मुस्लिम वर्ल्ड लीग के सेक्रेटरी जनरल डॉक्टर अल-इसा (Al-Issa) ने दिल्ली के इंडिया इस्लामिक कल्चरल सेंटर में एक सभा को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने कहा कि करते हुए कहा है कि भारत के मुस्लिमों को हिंदुस्तानी होने पर गर्व है।
राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार डोभाल ने इंडिया इस्लामिक कल्चरल सेंटर के एक कार्यक्रम को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने धर्म और आतंकवाद सहित कई मुद्दों पर बेबाक बातें कहीं। अजीत डोभाल ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा है कि ‘भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र और लोकतंत्रों की जननी और विविधता की भूमि है।’ भारत विविध संस्कृतियों, धर्मों और भाषाओं का मिश्रण है।
इंडिया इस्लामिक कल्चरल सेंटर (IICC) के एक कार्यक्रम में अजीत डोभाल ने आगे कहा है कि एक समावेशी लोकतंत्र के रूप में, भारत अपने सभी नागरिकों को उनकी धार्मिक, जातीय या सांस्कृतिक पृष्ठभूमि की परवाह किए बिना बराबर का स्थान प्रदान करने में पूरी तरह सफल रहा है।
एनएसए अजीत डोभाल ने कहा, ‘भारतीय मुस्लिम आबादी इस्लामिक सहयोग संगठन (OIC) के लगभग 33 सदस्यीय देशों की कुल आबादी के लगभग बराबर है।’ डोभाल ने कहा कि पवित्र कुरान विविध पृष्ठभूमि के लोगों के बीच एकता और समझ के महत्व पर जोर देती है। कुरान का संदेश आपसी परिचय और पहचान को सुगम बनाता है। भारत उस समय सूफी पुनर्जागरण का पोषण कर रहा था, जब बगदाद के पतन के बाद इस्लाम खतरे में था।
आतंकवाद के मुद्दे पर अजीत डोभाल ने कहा कि भारत कई दशकों तक आतंकवाद का शिकार रहा है। आतंक के खिलाफ जंग में भारत को कई बार ऐसी परिस्थितियां बनी, जब उकसाया गया। लेकिन इन उकसावों के बावजूद भारत ने दृढ़ता के साथ कानून सम्मत तरीके से अपना काम किया है और इस तरह अपने नागरिकों के अधिकारों और मानवीय मूल्यों व अधिकारों की सुरक्षा को बरकरार रखा है। उन्होंने कहा कि भारत को जब आतंकवाद के पनाहगारों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जरूरत महसूस हुई, तो हम अपने राष्ट्रीय हित में आतंकवाद को नष्ट करने के हर संभव प्रयास में जुट गए।
अजीत डोभाल ने आगे कहा कि हमारे प्रधानमंत्री कहते हैं कि यह समय जंग का नहीं, बल्कि मानवता की भलाई के लिए है। भविष्य की लड़ाई भूख, गरीबी, अज्ञानता और अभाव के खिलाफ लड़ना होगा। आज की दुनिया में, हमारे सामने जटिल भू-राजनीतिक चुनौतियों के साथ, शांति और सद्भाव के युग की शुरुआत करने के लिए धर्म को मानवता के लिए एक प्रेरक प्रकाश बनना होगा। इसके लिए हमें आपसी मतभेदों को पीछे छोड़ना होगा।