नई दिल्ली : वैसे तो शरीर में कोलेस्ट्रोल (Cholesterol) का होना बहुत जरूरी है, क्योंकि कोलेस्ट्रोल (Cholesterol) शरीर में कोशिकाओं के निर्माण सहित कई प्रक्रियाओं में भाग लेता है। कोलेस्ट्रोल (Cholesterol) के कारण ही शरीर में हार्मोन का निर्माण होता है, किन्तु ज्यादा कोलेस्ट्रोल शरीर (cholesterol body) के लिए बहुत नुकसानदेह भी हो सकता है। यहां तक कि ज्यादा कोलेस्ट्रॉल (Cholesterol) बढ़ने से आपको दिल के रोग, नस और धमनियों के रोग, हार्ट अटैक और स्ट्रोक की चपेट में जल्दी आ सकते हैं। अगर आप फैट वाली चीजों का अधिक सेवन करते हैं और किसी तरह की फिजिकल एक्टिविटी में शामिल नहीं है, तो आपको हार्ट अटैक आने के पूरे चांस हैं।
दरअसल, कोलेस्ट्रोल चिपचिपा पदार्थ के रूप में खून की धमनियों में जमा होने लगता है जिससे हार्ट पर प्रेशर बढ़ता है और इसके कारण दिल से संबंधित कई बीमारियां हो जाती हैं। यहां तक कि शरीर में कोलेस्ट्रॉल (cholesterol) का बढ़ना कई जटिल स्वास्थ्य समस्याओं से जुड़ा हुआ है। दिल को स्वस्थ रखने और अन्य हानिकारक बीमारियों से बचने के लिए कोलेस्ट्रॉल को कंट्रोल रखना बहुत जरूरी है।
कोलेस्ट्रॉल खून की नसों में पाया जाने वाला एक मोम की तरह चिपचिपा पदार्थ होता है, जो आपके द्वारा खाए जाने वाले खाद्य पदार्थों से बनता है, हालांकि लीवर भी इसका निर्माण करता है। कुल मिलाकर बात यह है कि स्वस्थ रहने के लिए इसे शरीर से साफ करना बहुत जरूरी है।
वैसे जानकारों का कहना है कि कोलेस्ट्रॉल दो तरह का होता है अच्छा कोलेस्ट्रॉल जिसे Good cholesterol कहते हैं जोकि शरीर के कुछ कामकाज में भूमिका निभाता है और दूसरा है खराब कोलेस्ट्रॉल जिसे Bad cholesterol कहते हैं, इसकी वजह से आपको विभिन्न स्वास्थ्य समस्याओं का खतरा होता है।
कोलेस्ट्रॉल बढ़ने के कारण
सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (CDC) के अनुसार, कुछ स्वास्थ्य स्थितियां, आपकी जीवनशैली और आपका पारिवारिक इतिहास हाई कोलेस्ट्रॉल के लिए आपके जोखिम को बढ़ा सकता है। आप इनमें से कुछ जोखिम कारकों को नियंत्रित नहीं कर सकते हैं, जैसे आपकी उम्र या आपका पारिवारिक इतिहास। हालांकि कुछ कुछ चीजों को नियंत्रित करने से आपको इसका जोखिम करने में मदद मिल सकती है।
स्वस्थ और लंबा जीवन जीने के लिए आपको रोजाना कम से कम बीस मिनट एक्सरसाइज करनी चाहिए। अगर आप एक्सरसाइज नहीं करते या किसी तरह की फिजिकल एक्टिविटी में शामिल नहीं होते हैं तो पूरा चांस है आपके खून में कोलेस्ट्रॉल बढ़ने लग जाएगा।
स्मोकिंग से आपकी रक्त वाहिकाओं को नुकसान पहुंच सकता है, जिससे उनमें फैट जमा होने की संभावना बढ़ जाती है। स्मोकिंग करने से हाई डेंसिटी वाला लिपोप्रोटीन यानी अच्छा कोलेस्ट्रॉल भी कम हो सकता है।
कुछ लोगों को एक विरासत में मिली आनुवंशिक स्थिति होती है जिसे फैमिली हाइपरकोलेस्ट्रोलेमिया (FH) कहा जाता है। यह स्थिति बहुत कम घनत्व वाले लिपोप्रोटीन (एलडीएल) यानी खराब कोलेस्ट्रॉल के कारण कम उम्र में शुरू होती है। अगर इसका इलाज नहीं किया गया, तो उम्र के साथ खराब होती रहती है।
कोलेस्ट्रॉल का जोखिम उम्र के साथ बढ़ता जाता है। जैसे-जैसे बड़े होते हैं, तो शरीर रक्त से कोलेस्ट्रॉल को उतना ही साफ नहीं कर पाता जितना छोटे होने पर हो जाता है। लगभग 55 वर्ष की आयु तक महिलाओं में पुरुषों की तुलना में खराब कोलेस्ट्रॉल का स्तर कम होता है।