छत्तीसगढ़

जनजाति सलाहकार परिषद की बैठक में बस्तर सांसद वर्चुल शामिल हुए

जगदलपुर: मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से छत्तीसगढ़ जनजाति सलाहकार परिषद की बैठक में बस्तर सांसद दीपक बैज जिला कार्यालय से वर्चुल माध्यम से शामिल हुए। आज संपन्न हुई जनजाति सलाहकार परिषद की बैठक में आदिवासियों के 32 प्रतिशत आरक्षण हेतु कमेटी के सभी सदस्यों ने सर्व सहमति से छत्तीसगढ़ लोक सेवा, अनुसूचित जातियों,अनुसूचित जनजातियों और अन्य पिछड़ा वर्गों के लिए आरक्षण संशोधन विधेयक 2022 के प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया। वहीं छत्तीसगढ़ शैक्षणिक संस्था में प्रवेश में आरक्षण संशोधन विधेयक के प्रस्ताव का भी अनुमोदन किया गया।

उल्लेखनीय है कि भानुप्रतापपुर विधानसभा क्षेत्र में उप चुनाव के लिए प्रचार अभियान में कांग्रेस प्रत्याशी सावित्री मंडावी के प्रचार में उनके साथ मंत्री लखमा ग्राम बोगर पहुंचे थे। इस दौरान आदिवासी आरक्षण के मामले को लेकर सर्व आदिवासी समाज आरक्षण कटौती के मामले को लेकर हंगामा किया और छत्तीसगढ़ के आबकारी मंत्री कवासी लखमा को प्रचार करने से रोका गया। जिसके बाद मंत्री लखमा ने कहा कि आदिवासियों को आरक्षण का लाभ नहीं दिला पाया तो अपने आपको राजनीति से अलग कर लूंगा, उन्होंने कहा कि आदिवासियों के लिए राष्ट्रपति, राज्यपाल और सुप्रीम कोर्ट तक जाएंगे। अगर उस समय तक सफलता नहीं मिली तो अपने आपको राजनीति से अलग कर लूंगा।

मंत्री कवासी लखमा ने कहा, वे लोग नारेबाजी नहीं कर रहे थे सुना रहे थे, आदिवासियों का अधिकार है। वो मुझे नहीं बोलेंगे तो पाकिस्तान जाकर तो नहीं बोलेंगे, उन लोगों ने नाराजगी व्यक्त की है। उनमें बीजेपी का सरपंच भी था, बीजेपी के लोग तो ऐसे ही करते हैं, फूट डालो और राज करो। इस मामले के बाद आज आनन-फानन में केबिनेट की बैठक में प्रस्ताव पारित कर आदिवासी आरक्षण कटौती के मामले से होने वाले नुकसान को कम करने का प्रयास किया जाना माना जा रहा है।

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