नई दिल्ली : कुछ महिलाओं के चेहरे या शरीर पर बहुत ज्यादा बाल आने लगते हैं। इन अनचाहे बालों की स्थिति को हर्सुटिज्म कहा जाता है। महिलाओं के चेहरे और शरीर पर हल्के रंग के बाल होते हैं लेकिन हर्सुटिज्म में ये बाल मोटे और काले रंग के होते हैं। ये अनचाहे बाल चेहरे, हाथ, पीठ या छाती कहीं भी आ सकते हैं। महिलाओं में होने वाला हर्सुटिज्म आमतौर पर पुरुष हार्मोन से जुड़ा होता है। हर्सुटिज्म हानिकारक नहीं होता है।
टेस्टोस्टेरोन के साथ एण्ड्रोजन हार्मोन के सामान्य स्तर से ज्यादा बढ़ जाने पर महिलाओं के शरीर में अनचाहे बाल आने लगते हैं। इसकी वजह से महिलाओं में पुरुषों की तरह बाल उगने लगते हैं। इसके कई कारण हैं, लेकिन सबसे आम वजह पॉलीसिस्टिक ओवेरियन सिंड्रोम (PCOS) है। इसका असर हार्मोन प्रोडक्शन और पीरियड्स और फर्टिलिटी पर भी पड़ता है। इसके अलावा एड्रेनल ग्लैंड डिसऑर्डर की वजह से भी महिलाओं के शरीर में तेजी से अनचाहे बाल बढ़ने लगते हैं।
वजन का तेजी से बढ़ना, मुंहासे, बहुत ज्यादा थकान, मूड में बदलाव, पेल्विक पेन, सिर दर्द, इनफर्टिलिटी, सोने में दिक्कत हर्सुटिज्म के आम लक्षण हैं। कुछ मामलों में ब्लड प्रेशर बढ़ जाना, हड्डियों और मांसपेशियों के कमजोर होने जैसे लक्षण भी देखे जाते हैं। इसे पता लगाने के लिए डॉक्टर्स हार्मोन लेवल की जांच के ब्लड टेस्ट कराते हैं। ट्यूमर और सिस्ट का पता लगाने के लिए अल्ट्रासाउंड भी करा सकते हैं।
अगर आपका वजन बहुत ज्यादा है तो डॉक्टर आपसे वजन कम करने को कह सकते हैं। वजन सही रखने से हार्मोन का स्तर भी संतुलित रहता है। PCOS या फिर एड्रेनल डिसऑर्डर होने पर डॉक्टर इसकी दवा शुरू कर सकते हैं। हर्सुटिज्म कंट्रोल करने के लिए कभी-कभी डॉक्टर्स गर्भनिरोधक गोलियां भी देते हैं ताकि हार्मोन को सही रखा जा सके। इसके अलावा हेयर रिमूवल, वैक्सिंग, शेविंग, डिपीलेटरी लेजर हेयर रिमूवल और इलेक्ट्रोलिसिस के जरिए भी अनचाहे बालों से छुटकाया पाया जा सकता है।