चंडीगढ़ : हरियाणा सरकार ने प्रदेश के अस्थायी कर्मचारियों के लिए ऐतिहासिक फैसला लिया है। हाईकोर्ट में दाखिल जवाब के अनुसार इन अस्थायी कर्मचारियों को अगले दो सप्ताह में स्थायी नियुक्ति पत्र प्रदान कर दिए जाएंगे। इस फैसले से न केवल हजारों कर्मचारियों को स्थायित्व मिलेगा, बल्कि उनकी कार्य स्थितियों में भी सुधार आएगा।
हरियाणा सरकार ने हाईकोर्ट के निर्देशों के अनुसार 20 साल से अधिक समय से कार्यरत अस्थायी कर्मचारियों को स्थायी करने की प्रक्रिया तेज कर दी है। इसके तहत वित्त विभाग ने कैडर पदों के सृजन को मंजूरी दे दी है। मुख्यमंत्री नायब सैनी के नेतृत्व में इस पहल को प्राथमिकता दी गई और अब मुख्य सचिव कार्यालय से इसके निर्देश जारी कर दिए गए हैं।
सरकार ने यह भी घोषणा की है कि नियुक्ति पत्र के साथ-साथ कर्मचारियों को उनके लंबित वित्तीय लाभ भी दिए जाएंगे। अगर सरकार समय पर यह प्रक्रिया पूरी नहीं करती है तो हाईकोर्ट के आदेशानुसार संबंधित अधिकारी व्यक्तिगत रूप से जिम्मेदार होंगे और उन्हें जुर्माना भरना पड़ेगा।
जुलाई 2024 तक की जानकारी के अनुसार हरियाणा में कुल 4.5 लाख स्वीकृत पदों में से 2.7 लाख पद भरे जा चुके हैं, जबकि 1.8 लाख पद खाली हैं। कच्चे कर्मचारियों की संख्या करीब 1.25 लाख है। 2024 में विधानसभा चुनाव को देखते हुए सरकार ने कई स्थायी पदों पर भर्तियां जारी की थीं, जिन्हें अब तेजी से भरा जा रहा है।
इस कदम से हरियाणा का प्रशासनिक ढांचा मजबूत होगा और कर्मचारियों के लिए उम्मीद की नई किरण बनेगी। सरकार का यह फैसला निश्चित तौर पर हरियाणा के कर्मचारियों के लिए मील का पत्थर साबित होगा और प्रदेश की विकास यात्रा में एक नया अध्याय जोड़ेगा।