देश में इस बात को लेकर चर्चा गर्म है कि जो जवान हमारी और आपकी सुरक्षा के लिए जान की बाजी लगाते हैं क्या उन्हें वो सुविधाएं मिलती हैं जो मिलनी चाहिए. ये मुद्दा तब उठा जब बीएसएफ के जवान तेज बहादुर यादव ने खराब खाना परोसे जाने का वीडियो सोशल मीडिया पर डाला जो वायरल हो गया. अब तेज बहादुर ने नया आरोप लगाते हुए कहा है कि उस पर शिकायत वापस लेने का दबाव बनाया जा रहा है.
कल पत्नी से बातचीत में तेज बहादुर ने ये खुलासा किया है. तेज बहादुर की पत्नी ने कल मीडिया में ऑडियो जारी कर आरोप लगाया है कि BSF जांच का दिखावा कर रही है और तेजबहादुर पर आरोप वापस लेने का दबाव बनाया जा रहा है. तेजबहादुर की पत्नी ने कहा है कि अगर उनके पति को कुछ हुआ तो सरकार जिम्मेदार होगी.
हालांकि अभी इन आरोपों पर बीएसएफ का पक्ष नहीं आया है.
आपको बता दें कि तेज बहादुर को दूसरी यूनिट में भेज दिया गया है, उसे प्लम्बर का काम सौंपा गया है. प्लंबर का दिए जाने पर आलोचना के बाद बीएसएफ ने कहा कि तेज बहादुर को कोई सजा नहीं दी गई है. निष्पक्ष जांच के लिए उसे अलग यूनिट में रखा गया है. तेज बहादुर के साथ न्याय होने की बात कही गई है.
तेज बहादुर ने बॉर्डर पर बीएसएफ को मिलने वाले खाने की शिकायत करते हुए दो दिन पहले फेसबुक पर वीडियो डाला था. इसके बाद से ये वीडियो वायरल हो गया और पूरे देश का ध्यान बीएसएफ में खाने के मुद्दे पर पड़ा. तेज बहादुर के वीडियो के बाद सत्ता के गलियारे तक हंगामा मच गया.
बता दें कि बीएसएफ की तरफ से बताया गया है कि तेज बहादुर यादव को अनुशासनहीनता और एक वरिष्ठ अधिकारी पर बंदूक तानने के लिए 2010 में कोर्ट मार्शल किया जा चुका है. पिछले बीस साल की सेवा में तेज बहादुर यादव को चार बार कड़ी सजा मिल चुकी है, जिसके तहत उन्हें क्वार्टर गार्ड में भी रखा जा चुका है. तेज बहादुक पर नशे में ड्यूटी करना, सीनियर का आदेश न मानना, बिना बताए ड्यूटी से गायब रहना और कमांडेंट पर बंदूक तानने तक का भी आरोप लगा था. बात करते हुए तेज बहादुर मानते हैं कि उन्हें सजा मिल चुकी है, लेकिन वह ये भी दावा कर रहे हैं कि उन्हें 16 बार सम्मानित भी किया जा चुका है.