भरतपुर : बघेल समाज के सामाजिक एवं आर्थिक उन्नयन और इस समाज को मुख्य धारा में शामिल करने के लिये तकनीकी शिक्षा एवं आयुर्वेद राज्यमंत्री डॉ. सुभाष गर्ग ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को पत्र लिखकर अहिल्या बाई कल्याण बोर्ड के गठन की मांग की है।
डॉ. गर्ग द्वारा लिखे गये पत्र में कहा है कि गडरिया, गाडरी, गायरी, धनगर एवं बघेल समाज के लोग भरतपुर सहित राजस्थान के करीब 26 जिलों में निवास करते हैं। जो मुख्य रूप से खेतीहर मजदूर अथवा भेंड पालन व चरवाहा के रूप में कार्य कर अपना जीवनयापन करते आ रहे हैं जिनका सामाजिक एवं आर्थिक स्तर काफी निम्न है और आर्थिक विपन्नता की वजह से शिक्षा का स्तर भी काफी नीचे है। जिससे इस समाज के लोगों की सरकारी नौकरियों में संख्या कम है।
पत्र में डॉ. गर्ग ने कहा है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ही गडरिया, गाडरी, गायरी जाति के लोगों को गुर्जर समाज के साथ विशेष पिछडा वर्ग में शामिल किया था किन्तु सामाजिक जाग्रति व शिक्षा का अभाव होने के कारण विशेष पिछडा वर्ग में कोई लाभ प्राप्त नहीं कर पा रहे हैं। डॉ. गर्ग ने कहा है कि राज्य के अन्य गरीब व पिछडे समाजों के आर्थिक व सामाजिक विकास के लिये कल्याण बोर्डो का गठन किया है। इसी प्रकार के कल्याण बोर्ड का गठन बघेल समाज के विकास के लिये अहिल्या बाई कल्याण बोर्ड के नाम से किया जाये। उन्होंने पत्र में यह भी कहा है कि बघेल समाज का कोई भी व्यक्ति वर्तमान में राजकीय सेवा में बडे पदों पर कार्यरत नहीं है।
डॉ. गर्ग ने कहा है कि अहिल्या बाई कल्याण बोर्ड के गठन होने के बाद बघेल समाज के युवाओं को उच्च शिक्षा प्राप्ति, रोजगार के नवीन संसाधन सहित आर्थिक उन्नयन के अनेक अवसर प्राप्त होंगे। बोर्ड का गठन होने के बाद बघेल समाज मुख्यधारा में शामिल हो जायेगा। इसलिए जरूरी है कि शीघ्र ही अहिल्या बाई कल्याण बोर्ड की गठन की घोषणा की जाये।