पश्चिम गोदावरी (आंध्र प्रदेश): आंध्र प्रदेश के पश्चिम गोदावरी जिले के एलुरु शहर के पडमरा मार्ग क्षेत्र में अचानक एक साथ तमाम लोग बीमार हो गए जबकि कुछ बेहोश हो गये। अब तक इस बीमारी से लगभग दो सौ से अधिक लोग ग्रसित हो चुके हैं।
इससे प्रशासन और शासन में हड़कंप मचा हुआ है। मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने इस घटना की पूरी जानकारी ली और बीमार लोगों को तुरंत इलाज उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। स्वास्थ्य मंत्री ने आल्ला नानी ने अस्पताल का दौरा कर बीमार लोगों का हाल-चाल लिया है।
जानकारी के अनुसार अभी तक 186 लोगों का अस्पताल में इलाज कराने के बाद उन्हें घर भेज दिया गया है। एक लड़की की हालत गंभीर बताई जा रही है। बीमार होने का कारण अभी अधिकारिक रूप से कुछ स्पष्ट नहीं हुआ है लेकिन इसके पीछे प्रदूषित पानी का आपूर्ति होने की अटकलें लगाई जा रही हैं।
शनिवार सुबह से एलुरु शहर के पडमरा मार्ग के कई लोगों के अस्वस्थ होने के बाद उन्हें अस्पताल ले जाया गया। लोगों ने इसे सामान्य रूप में लिया लेकिन शनिवार की रात से रविवार की सुबह तक इस क्षेत्र में एक के एक बीमार होने वालों की संख्या बढ़ने लगी।
इस तरह से लगभग 186 लोगों के बीमार होने की खबर से प्रशासन और शासन में हड़कंप मच गया। लोगों को चक्कर आने और बेहोश होने पर शहर के एलोरो सरकारी हॉस्पिटल में लगभग 140 और 46 लोगों को निजी अस्पताल में इलाज किया गया। अधिकांश लोगों को स्वास्थ्य में सुधार के बाद उन्हें डिस्चार्ज कर दिया गया। एक लड़की की तबीयत गंभीर बताई जा रही है।
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घटना की जानकारी मिलते ही राज्य के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के मंत्री व उपमुख्यमंत्री आल्ला नानी रविवार सुबह एलोरो सरकारी अस्पताल पहुंचे और अस्वस्थ लोगों से मिलकर उनका हाल-चाल पूछा।
आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने डिप्टी सीएम नानी से एलुरु की घटना की जानकारी ली। मुख्यमंत्री ने मंत्री नानी के अस्पताल पहुंचने और अस्वस्थ लोगों को चिकित्सा उपलब्ध कराने के लिए उनकी सराहना की। रेड्डी ने प्रभावित क्षेत्र में विशेष चिकित्सा शिविर लगाकर लोगों का उपचार करने के निर्देश दिये हैं।
स्वास्थ्य मंत्री नानी ने जिलाधीश रेवु मुत्याला राजू और संयुक्त जिलाधीश हिमांशु शुक्ला के साथ विशेष बैठक कर स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने मरीजों के स्वास्थ्य पर निगरानी रखने के लिए भी स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देशित किया।
इसके बाद जिला रेड क्रॉस सोसायटी और अस्पताल कर्मी प्रभावित क्षेत्र में विशेष चिकित्सा शिविर लगाकर और घर-घर पहुंचकर लोगों का परीक्षण कर रही हैं। बताया गया है कि बीमार लोगों के खून के सैंपल परीक्षण के लिए विजयवाड़ा भेजा गया है और रिपोर्ट आने के बाद ही कुछ बीमारी का कारण स्पष्ट हो सकेगा।
इस संबंध में स्थानीय लोगों का कहना है कि नगरपालिका के द्वारा होने वाली पेयजल की आपूर्ति में कुछ दिन से पानी का रंग बदला सा आ रहा था। ऐसा माना जा रहा है कि जल प्रदूषण से शहर के लोग बीमारी पड़े हैं, लेकिन अभी प्रशासनिक स्तर पर कुछ नहीं बताया गया है।
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