जीवनशैली

गुस्सैल बच्चें को प्यार से समझाएं, घुमाने ले जाएं, ऐसा करना उसके नेचर और हेल्थ दोनों के लिए बेहतर होगा

नई दिल्ली: अगर आपका बच्चा भी गुस्सैल और चिड़चिड़ेपन का शिकार हो रहा है और ये सब उसकी आदत में शामिल हो रहा है। तो आप यहां बताये जा रहे कुछ टिप्स को अपनाकर अपने बच्चे के गुस्से और चिड़चिड़ेपन को कंट्रोल कर सकते हैं। बच्चा छोटी-छोटी बातों पर गुस्सा करता है या जरूरत से ज्यादा टीवी देखने या मोबाइल देखने पर टोकने से चिड़चिड़ाता है। तो उसको प्यार से समझाएं और उसको रोज़ाना पार्क में घुमाने ले जाएं। इससे बच्चे का मन थोड़ा बहलेगा और घर से बाहर वो प्रकृति को समझने की कोशिश भी करेगा।

ऐसा करना उसके नेचर और हेल्थ दोनों के लिए बेहतर साबित होगा। अक्सर जब माता-पिता अपने बच्चे की किसी बात को सुनना और समझना नहीं चाहते हैं, तब बच्चा गुस्सैल और चिड़चिड़ा बनता जाता है। ऐसे में जरूरी है कि अपने बच्चे को बोलने का मौका दें और उसकी समस्या को धैर्य के साथ सुने। इससे उसका विश्वास आप पर बढ़ता जायेगा, साथ ही उसके अंदर पनप रहा गुस्सा और चिड़चिड़ापन भी दूर होता जायेगा। बच्चे को प्राइवेसी और स्पेस देना भी बहुत जरूरी है। कभी-कभी बच्चे को अकेला न छोड़ने या उसको हर बात के लिए टोकने और दोस्तों के साथ प्राइवेसी टाइम न देने की वजह से भी बच्चा गुस्सैल और चिड़चिड़ा होता जाता है। ऐसे में जरूरी है कि बच्चे को प्यार से हैंडल करें और उसको अपने दोस्तों के साथ टाइम स्पेंड करने दें। इसके साथ ही हर बात के लिए उसको टोके या डांटें नहीं। इससे बच्चे के नेचर में काफी फर्क नजर आएगा।

बता दें ‎कि कई बार बच्चे किसी वजह से बहुत ही ज्यादा चिड़चिड़े और गुस्सैल हो जाते हैं. जिसकी वजह माता-पिता को पता नहीं चलती है। धीरे-धीरे ये गुस्सा और चिड़चिड़ापन बच्चों की आदत में शुमार होता जाता है। जिसके चलते ऐसे बच्चे जहां लोगों की पसंद से उतरने लगते हैं, तो वहीं माता-पिता को भी बच्चों की इस आदत की वजह से शर्मिंदा होना पड़ता है।

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