
भरतपुर। भरतपुर के जिला अस्पताल के पास देर रात करीब दो बजे अचानक आग की लपटें उठीं और चंद मिनटों में आधा दर्जन छप्परपोश दुकानों को अपनी चपेट में ले लिया। विकराल होती आग ने दुकानों में रखे कूलर, फ्रिज, डीप फ्रिज, स्कूटी, बाइक और पूरा सामान चंद मिनटों में खाक कर दिया।
दमकल की तीन गाड़ियां मौके पर पहुंचीं और कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया गया, लेकिन तब तक लाखों की मेहनत राख हो चुकी थी। दुकानदारों का दावा है कि करीब 25 लाख का नुकसान हुआ है।
ये वही दुकानें हैं, जिन्हें कुछ महीने पहले भरतपुर विकास प्राधिकरण (UIT) ने जेसीबी से गिरा दिया था। दुकानदार उस नुकसान से अभी उबर भी नहीं पाए थे कि अब आग ने रही-सही कमर तोड़ दी।
स्थानीय लोगों का कहना है कि आग लगने के पीछे कोई असामाजिक तत्व हो सकता है, क्योंकि आग बेहद तेज़ी से फैली और कुछ ही मिनटों में सबकुछ जल गया।
आग का कारण अब तक साफ नहीं है, लेकिन जिस तरह से एक के बाद एक हादसे इन दुकानदारों को झेलने पड़ रहे हैं, वो ये ज़रूर बता रहे हैं कि सिस्टम की नज़र में शायद इनकी अहमियत अब भी ‘राख’ से ज़्यादा नहीं।