स्पोर्ट्स डेस्क : रियो ओलंपिक में इतिहास रचने वाली जिम्नास्ट दीपा कर्माकर घुटने की चोट को हारने के तीन वर्ष बाद लौट रही हैं. 2018 के जकार्ता एशियाई खेलों में आपरेशन के बाद उभर आई घुटने की चोट ने दीपा को पेशेवर जिम्नास्टिक से दूर कर दिया था.
वो टोक्यो ओलंपिक क्वालीफाइंग टूर्नामेंट में भी नहीं उतरीं, 28 वर्ष की उम्र में दीपा एक बार फिर अपने को साबित करने के लिए बेकरार हैं. दीपा ने 14, 15 सितम्बर को दिल्ली में खेले जाने वाले विश्व चैंपियनशिप के ट्रायल में उतरने का फैसला लिया है. वो इस चैंपियनशिप के लिए अपने कोच विश्वेशर नंदी के संरक्षण में अगरतला में तैयारियों में लगी हुई हैं.
ग्लासगो राष्ट्रमंडल खेलों में कांस्य जीतकर दुनिया की नजरों में आने वाली दीपा के अनुसार एशियाई खेलों में चोट उभरने के बाद वो इसे पूरी तरह ठीक करने में लग गईं. कोच नंदी ने उन्हें हिम्मत नहीं हारने दी. उन्होंने अपने कोच के साथ वापसी के लिए कमर कस ली. अब वो पूरी तरह फिट हैं.
यही कारण है कि उन्होंने विश्व चैंपियनशिप से भारतीय टीम में वापसी का लक्ष्य रखा है. वो ट्रायल में उतरेंगी और टीम में चयनित होने का प्रयास करेंगी. दीपा भले ही वो टोक्यो ओलंपिक के क्वालीफाइंग टूर्नामेंट नहीं उतरीं हों, इस दौरान उन्होंने अगरतला अकादमी में लगातार अभ्यास जारी रखा है. यहां तक लॉकडाउन के दौरान भी उन्होंने अभ्यास नहीं छोड़ा.
जिम्नास्टिक फेडरशन ऑफ इंडिया 18 अक्टूबर से जापान में खेले जाने वाली विश्व चैंपियनशिप के लिए तीन पुरुष, तीन महिला जिम्नास्टों की टीम भेजेगा. टीम के चयन को दिल्ली में ओपन ट्रायल होगा. जिसमें दीपा के अलावा एशियाई, राष्ट्रमंडल खेलों के पदक विजेता जिम्नास्ट प्रयागराज के आशीष कुमार, राकेश पात्रा, टोक्यो ओलंपिक में खेलने वाली परणीति नायक, अरुणा रेड्डी के अलावा कई जिम्नास्ट भाग लेंगे.
जीएफआई के महासचिव जी. शांतिकुमार बोलते हैं कि चैंपियनशिप के लिए जिम्नास्टों का आठ सितम्बर से दिल्ली में राष्ट्रीय शिविर लगाया जा रहा है.