अन्तर्राष्ट्रीय

हेल्थ एक्सपर्ट्स की सलाह-चूहों से बचकर रहें मंकीपॉक्स के मरीज, जानें वजह

लंदन। ब्रिटेन में मंकीपॉक्स वायरस (Monkeypox Virus Cases) के बढ़ते मामलों के बीच हेल्थ एक्सपर्ट्स (health experts) ने इस बीमारी से संक्रमित मरीजों (infected patients) को कम से कम तीन सप्ताह तक घरों में पालतू छोटे जीवों जैसे चूहे और खरगोश आदि से दूर रहने की सलाह दी है. देश में अब तक इस वायरस से संक्रमित 100 से ज्यादा रोगियों की पहचान हुई है. इससे पहले मंकीपॉक्स को काफी हद तक अफ्रीकी देशों तक ही सीमित माना जा रहा था. डब्ल्यूएचओ ने शुक्रवार को कहा कि उसे इस वायरस के कम्युनिटी स्प्रेड (community spread of virus) की आशंका है।

एक रिपोर्ट के अनुसार, मौजूदा साक्ष्य के आधार पर, जिन घरों में मंकीपॉक्स वायरस से संक्रमित लोग हैं उन्हें क्वारंटाइन अवधि (21 दिन) तक पालतू चूहों और खरगोश आदि को घर से हटा देना चाहिए। यूके हेल्थ सिक्योरिटी एजेंसी ने शुक्रवार को कहा कि उसने 7 मई तक मंकीपॉक्स वायरस के 101 मामले दर्ज किए हैं. हालांकि ब्रिटेन की आबादी के लिए जोखिम कम है, लेकिन फिर भी हम लोगों से किसी भी प्रकार के नए चकत्ते या घावों समेत अन्य लक्षणों के प्रति सतर्क रहने की सलाह देते हैं।

अभी तक सामने आए मंकीपॉक्स संक्रमण के अधिकांश मामले समलैंगिक और पुरुषों के साथ यौन संबंध रखने वाले पुरुषों के हैं, इसलिए हम इन लोगों को विशेष रूप से लक्षणों से सावधान होने के लिए कह रहे हैं. खासकर तब जब उन्होंने हाल ही में एक नया यौन साथी बनाया है.” यूरोप में सेक्स क्लीनिक में कई मामले सामने आए हैं. यह वायरस संयुक्त राज्य अमेरिका और यूरोप में फैल गया है. विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इस वायरस के ट्रांसमिशन पर गहरी चिंता जताई है।

भारत में अब तक मंकीपॉक्स का एक भी मामला सामने नहीं आया है, लेकिन सरकार इसे लेकर कोई ढिलाई नहीं बरतना चाहती है. बताया जा रहा है कि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय जल्द ही नई गाइडलाइन जारी करेगी। सोमवार को भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद, विश्व स्वास्थ्य संगठन और राष्ट्रीय रोग नियंत्रण केंद्र के अधिकारियों ने बैठक की. इसमें उन यात्रियों के लिए गाइडलाइन तैयार करने पर सहमति जताई गई जो उन देशों से यात्रा करके लौटे हैं जहां मंकीपॉक्स संक्रमण की सूचना मिली है।

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