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NIA ने जिस मॉड्यूल का भांडा फोड़ा था, उसके कनेक्शनों को अभी भी खंगाला जा रहा है। 1 जनवरी को एनआईए ने एक बार फिर अमरोहा में छापेमारी की।
नई दिल्ली: बीते दिनों उत्तर प्रदेश और दिल्ली के कुछ इलाकों में नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (NIA) द्वारा की गई छापेमारी में अभी भी कार्रवाई जा रही है। ISIS की तर्ज पर बने मॉड्यूल हरकत उल हर्ब ए इस्लाम के लिए झंडा बनाने वाले लोगों से NIA पूछताछ कर रही है। नए साल के पहले ही दिन एनआईए उत्तर प्रदेश के अमरोहा में फिर छापेमारी कर रही है। बताया जा रहा है कि इस ग्रुप के मास्टरमांइड सुहैल ने इंटरनेट से देखकर झंडा तैयार किया और अमरोहा में ही इसे सिलवाया।
मुफ्ती सुहैल ने NIA को पूछताछ में बताया कि वह पाकिस्तानी हैंडलर अबु मलिक पेशावरी के कहने पर भारत में इस ग्रुप को बनाकर ऑनलाइन रेडिक्लाइजेशन कर रहा था। उसने कहा कि वह अबु मलिक पेशावरी से फोन पर बात करना चाहता था, लेकिन उसने इनकार कर दिया। पूछताछ में खुलासा हुआ है कि उसने चार लोगों को टेलीग्राम चैनल बनाया हुआ था, इसमें मोहम्मद सुहैल, अनस यूनुस, मोहम्मद आजम और मोहम्मद इरशाद शामिल थे। इनके जरिए ही पाकिस्तानी हैंडलर से सीधे बात होती थी, बात करने के अगले ही दिन पूरी चैट को डिलीट कर दिया जाता था।
सुहैल के मुताबिक, होममेड रॉकेट लॉन्चर के लिए बारूद, पत्थर, छर्रे और स्पिलंटर को उसने ही इकट्ठा किया था, जिसका मकसद किसी भीड़ वाले इलाके को निशाना बनाना था। सुहैल के अलावा जिन चार लोगों ने उसे देसी कट्टे मुहैया कराए थे उनसे भी पूछताछ जारी है। इन्हें भी जल्द गिरफ्तार किया जा सकता है। गौरतलब है कि बीते दिनों NIA, UP ATS और दिल्ली पुलिस ने एक संयुक्त अभियान चला अमरोहा, मेरठ, दिल्ली के जाफराबाद के कुल 16 ठिकानों पर छापेमारी की थी। इस ग्रुप से जुड़े कई लोगों को हिरासत में भी लिया गया था। NIA का दावा था कि ये सभी मिलकर किसी बड़े हमले की साजिश रच रहे थे, इनके निशाने पर दिल्ली के कुछ वीआईपी स्थान और नेता थे।