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जानें आखिर वो कौन थे जम्मू कश्मीर के डीजी जेल हेमंत लोहिया

नई दिल्ली: जम्मू-कश्मीर में सोमवार देर रात पुलिस महानिदेशक (जेल) हेमंत लोहिया की गला रेतकर हत्या कर दी गई है. वहीं, एक कथित लेटर सामने आया है जिसमें डीजी मर्डर की पीएएफएफ ने जिम्मेदारी ली है. बता दें, घटना के बाद से हेमंत लोहिया के घर काम करने वाला नौकर भी फरार है जिसकी तलाश में पुलिस की टीम जुटी है. बता दें, ये घटना ऐसे वक्त में हुई है जब केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह जम्मू-कश्मीर दौरे पर हैं. उन्होंने इस मर्डर की जम्मू-कश्मीर के डीजीपी से रिपोर्ट ली है और आरोपी को तत्काल गिरफ्तार करने के निर्देश दिए हैं.

हेमंत लोहिया आतंकियों के लिए एक ऐसा नाम था जिसे सुनकर टेरर टोली कांप उठती थी. 90 के शुरुआती दौर में जब कश्मीर में आतंकवाद चरम पर था तब से लेकर 3 अक्टूबर 2022 तक IPS हेमंत लोहिया का 3 दशक का करियर बेहद शानदार रहा. उन्होंने लालचौक पर फिदायीन हमले के मिशन को नाकाम किया था. वहीं, BSF में रहकर देश के दुश्मनों के मंसूबे ध्वस्त करने का जिम्मा भी उन्होंने उठाया था. बता दें, हेमंत लोहिया अगस्त 2022 में जम्मू-कश्मीर के डीजी (जेल) बनाए गए.

बताते चले, 3 अक्टूबर की दोपहर बारामूला में बैंक मैनेजर पर ताबड़तोड़ फायरिंग हुई है. वहीं, 3 अक्टूबर की रात जम्मू कश्मीर के डीजी जेल का मर्डर हुआ है. इससे पहले 28 सितंबर को ऊधमपुर में 8 घंटे के अंतराल में 2 ब्लास्ट हुए हैं. गृहमंत्री अमित शाह के दौरे से पहले और बाद में इन घटनाओं से जम्मू कश्मीर में हड़कंप मचा हुआ है. पुलिस और प्रशासन भी परेशान दिख रहा है. इन घटनाओं के बीच सबसे बड़ा सवाल ये पैदा हो रहा है कि कश्मीर का माहौल बिगाड़ने की साजिश में कहीं यासिर (फरार आरोपी) भी एक मोहरा तो नहीं?

बता दें, हेमंत लोहिया के मर्डर के बाद से नौकर यासिर लापता है जिस कारण उसे आरोपी के तौर पर देखा जा रहा है. यासिर को ट्रैक किया जा रहा है. माना जा रहा जल्द ही उसकी गिरफ्तारी हो सकती है.

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