लुब्रिज़ोल कॉर्पोरेशन ने पुणे में नया ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर शुरू किया
मुंबई (अनिल बेदाग): स्पेशलिटी केमिकल्स में अग्रणी, लुब्रीज़ोल ने कई मार्केट और इंडस्ट्री में क्षेत्रीय और वैश्विक सफलता हासिल करने के लिए और लोकल टैलेंट का लाभ उठाने के लिए ग्राहकों और कर्मचारियों के साथ मिलकर काम करने के लिए, एक रणनीतिक केंद्र के रूप में पुणे में एक नया ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर (जीसीसी) शुरू किया है।
एम्बेसी टेक जोन, हिंजेवाड़ी, पुणे में स्थित ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर लुब्रीज़ोल के नई सुविधा का हिस्सा है। जीसीसी कैम्पस लीड गोल्ड प्रमाणित है और एक सुरक्षित, स्वस्थ और पर्यावरण के प्रति जागरूक कार्यस्थल को सक्षम बनाने के लिए उपयुक्त है। एक अच्छी तरह से डिज़ाइन किए गए और एर्गोनोमिक वर्कस्पेस के अलावा, 42,000 वर्ग फुट की सुविधा में वेलनेस रूम, एक मनोरंजक क्षेत्र, एक प्रशिक्षण क्षेत्र और प्राकृतिक रोशनी वाले हडल रूम शामिल हैं। ग्राहक अनुभव केंद्र लुब्रिज़ोल के विज्ञान बारे में जानकारी देता है। इंजीनियरिंग, सप्लाय चेन, टेक्नोलॉजी, फाइनेंस, प्रोक्योरमेंट, लीगल आणि ह्यूमन रिसोर्स के क्षेत्र में काम करने वाले 200 से अधिक क्षेत्रीय कर्मचारियों को अगले वर्ष जीसीसी में नौकरी मिलने की उम्मीद है।
जेटी जोन्स, सीनियर वाइस प्रेसिडेंट, हाई ग्रोथ रीजन ने कहा, “भारत निस्संदेह हमारे सबसे तेजी से बढ़ते मार्केट में से एक है और क्षेत्रीय और वैश्विक ग्राहकों के लिए सफलता और नवाचार प्राप्त करने के लिए आवश्यक टैलेंट का एक महत्वपूर्ण केंद्र है।”
भावना बिंद्रा, मैनेजिंग डायरेक्टर – भारत, मिडिल ईस्ट और अफ्रीका, लुब्रिज़ोल ने कहा, “जीसीसी हमारी वैश्विक टीम का एक एकीकृत विस्तार है। यह व्यावसायिक प्रक्रिया और डिजिटल क्षमताएं उपलब्ध करने वाले एक क्षेत्रीय और वैश्विक केंद्र के रूप में कार्य करता है जो लुब्रिज़ोल को जटिल समस्याओं को हल करने और बेहतर व्यावसायिक परिणाम खोजने में मदद करेगा। आज हमारे लिए एक खुशी का दिन है क्योंकि हम भविष्य की कई अवसरों की प्रतीक्षा कर रहे हैं।”
अभिषेक जैन, इंडिया जीसीसी लीडर, लुब्रिज़ोल ने कहा, “पुणे में जीसीसी का उद्घाटन हमारी टीम के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, जो हमें अपनी तकनीकी क्षमताओं और परिचालन उत्कृष्टता को बढ़ाने के लिए वर्ल्ड-क्लास टैलेंट तक पहुंचने और विकसित करने में सक्षम बनाता है। इससे हम भारत और दुनिया भर में अपने ग्राहकों को और भी अधिक नवीन तरीकों से सेवा देने में सक्षम होंगे।”