अन्तर्राष्ट्रीय

मंकीपॉक्स मुख्य रूप से यौन संपर्क से फैलता है, लेकिन इसे नियंत्रित किया जा सकता है – डब्ल्यूएचओ

नई दिल्ली । विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने कहा है कि मंकीपॉक्स वायरस का मौजूदा प्रकोप मुख्य रूप से पुरुषों में सेक्स के जरिए फैल रहा है। पहली बार ब्रिटेन में 7 मई को सामने आया मंकीपॉक्स अब तेजी से एक दर्जन से अधिक देशों में फैल चुका है। इसके लगभग 200 पुष्ट और संदिग्ध मामले सामने आ चुके हैं। हालांकि अब तक किसी भी संबंधित मौत की सूचना नहीं मिली है।

डब्ल्यूएचओ ने चेतावनी दी है कि निगरानी बढ़ाने पर भी संक्रमण अधिक देशों में फैलने की संभावना है। इसने आगे कहा कि मंकीपॉक्स के पुष्ट और संदिग्ध मामलों की पहचान, जिसका किसी स्थानिक क्षेत्र से कोई सीधा संबंध नहीं है, ‘एक अत्यधिक असामान्य घटना प्रतीत होती है’। डब्ल्यूएचओ के चेचक अनुसंधान (स्मॉलपॉक्स रिसर्च) को चलाने वाले रोसमंड लुईस ने स्वास्थ्य निकाय के सोशल मीडिया चैनलों पर सवालों का जवाब देते हुए लाइव स्ट्रीम में कहा, “हमने पिछले पांच वर्षों में यूरोप में कुछ मामलों को केवल यात्रियों में देखा है, लेकिन यह पहली बार है जब हम कई देशों में एक ही समय में ऐसे लोगों के मामले देख रहे हैं जिन्होंने अफ्रीका में स्थानिक क्षेत्रों की यात्रा नहीं की है।”

सीएनबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, डब्ल्यूएचओ के अधिकारियों ने कहा कि वायरस स्वयं यौन संचारित संक्रमण नहीं है, जो आम तौर पर वीर्य और योनि तरल पदार्थ के माध्यम से फैलता है, बल्कि इसके मामलों में सबसे हालिया वृद्धि उन पुरुषों में पाई गई है जो अन्य पुरुषों के साथ यौन संबंध रखते हैं। अधिकारियों का कहना है कि मंकीपॉक्स किसी भी इंसान को अपनी चपेट में ले सकता है।

एचआईवी, हेपेटाइटिस और अन्य यौन संचारित संक्रमणों पर डब्ल्यूएचओ को सलाह देने वाले एंडी सील के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है, “यौन संपर्क के माध्यम से कई बीमारियां फैल सकती हैं। आपको यौन संपर्क के माध्यम से खांसी या सर्दी हो सकती है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि यह एक यौन संक्रमित बीमारी है।”

मंकीपॉक्स को पहले भी यौन संचारित संक्रमण के रूप में वर्णित नहीं किया गया है, लेकिन यह सेक्स के दौरान सीधे संपर्क में आने से जरूर फैल सकता है।इसके अलावा, बीबीसी ने बताया कि यूरोपियन सेंटर फॉर डिजीज प्रिवेंशन एंड कंट्रोल (ईसीडीसी) ने नोट किया कि व्यापक आबादी के लिए प्रसार की संभावना बहुत कम है।

ईसीडीसी की एंड्रिया अम्मोन का कहना है कि संचरण प्रमुख रूप से ‘निकट संपर्क के माध्यम से’ हो रहा है, उदाहरण के लिए कई लोगों से यौन संबंध रखने वाले व्यक्ति से यौन गतिविधियों के दौरान इसकी संभावना अधिक हो जाती है। डब्ल्यूएचओ ने यह भी नोट किया कि अफ्रीका के बाहर के देशों में मंकीपॉक्स पाया जा सकता है जहां आमतौर पर वायरस का पता नहीं चला है।

डब्ल्यूएचओ में उभरती हुई बीमारियों की विशेषज्ञ मारिया वान केरखोव ने सोमवार को एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, “यह एक नियंत्रण योग्य स्थिति है।” उन्होंने यूरोप और उत्तरी अमेरिका में हाल के मामलों का जिक्र करते हुए कहा, “हम मानव-से-मानव संचरण को रोकना चाहते हैं। हम गैर-स्थानिक देशों में ऐसा कर सकते हैं।” 50 वर्षों में अफ्रीका के बाहर सबसे बड़ा प्रकोप होने के बावजूद, मंकीपॉक्स लोगों के बीच आसानी से नहीं फैलता है और विशेषज्ञों का कहना है कि यह खतरा कोरोनावायरस महामारी से तुलनीय नहीं है।

वैन केरखोव ने कहा, “ट्रांसमिशन वास्तव में त्वचा से त्वचा के संपर्क से हो रहा है, जिन लोगों की पहचान की गई है, उनमें से अधिकांश को हल्की बीमारी है।”

डब्ल्यूएचओ ने कहा कि इस बात का कोई सबूत नहीं है कि मंकीपॉक्स वायरस उत्परिवर्तित (म्यूटेंट) हुआ है।

लुईस ने कहा कि इस समूह के वायरस म्यूटेंट नहीं होते हैं और वे काफी स्थिर होते हैं।

विशेषज्ञों ने यह भी सुझाव दिया है कि देशों को स्मॉलपॉक्स के टीके की उपलब्धता की समीक्षा करनी चाहिए, जो मंकीपॉक्स के खिलाफ भी प्रभावी हों।

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