MP : 31.32 किमी के रिंग लाइट रूट पर मेट्रो के 28 स्टेशन, 15 दिसंबर से शुरू होगा सफर
इंदौर: मध्य प्रदेश के इंदौर शहर का मेट्रो प्रोजेक्ट अभी भी सुर्खियों में है. 15 दिसंबर 2024 से गांधी नगर स्टेशन से सुपर कारिडोर स्टेशन नंबर 3 तक 5.9 किलोमीटर का सफर शहरवासी मेट्रो में कर सकेंगे. इस प्रायरिटी कारिडोर के हिस्से में पांच मेट्रो स्टेशन के निर्माण कार्य अब अंतिम चरण में हैं. यहां पर स्टेशन कंट्रोल रुम, सिग्नल सिस्टम, टिकट काउंटर, और चार्जिंग रुम तैयार हो चुके हैं. इन्हें फिनिशिंग टच दिया जा रहा है.
यलो लाइन के तहत 31.32 किमी का रिंग लाइट रूट तय है. जिसमें 28 मेट्रो स्टेशन बनेंगे. इसमें सुपर कारिडोर पर 5.9 किमी के हिस्से में प्रायोरिटी कॉरिडोर पर मेट्रो रेल प्रबंधन द्वारा दिसंबर 2024 तक कमर्शियल रन शुरू करने की योजना है. गांधी नगर से रेडिसन चौराहा तक 17 किलोमीटर के हिस्से में 16 स्टेशन वाले क्षेत्र में जून 2025 तक कमर्शियल रन शुरू करने की योजना है. इसे तय समय में पूरा करने के लिए अधिकारी सप्ताह में दो दिन इंदौर प्रोजेक्ट की मॉनीटरिंग करेंगे. एयरपोर्ट से रीगल तक 8.7 किलोमीटर के रूट पर 7 स्टेशन अंडरग्राउंड बनाने का प्रस्ताव है. हालांकि, बताया जा रहा है कि एमजी रोड और हाईकोर्ट से ही मेट्रो को अंडरग्राउंड होकर एयरपोर्ट तक जाना है.
मेट्रो कॉर्पोरेशन के एमडी एस. कृष्ण चैतन्य ने इंदौर मेट्रो के सुपर प्रायोरिटी कॉरिडोर की प्रगति की जानकारी ली. अब वे हर हफ्ते इंदौर आकर चल रहे निर्माण कार्यों का अवलोकन करेंगे. वे एलिवेटेड और अंडरग्राउंड रुट की भी समीक्षा करेंगे. हालांकि, राज्य सरकार, केंद्र सरकार, और एशियन विकास बैंक ने रुट परिवर्तन की कोई मंजूरी नहीं दी है. बढ़ी हुई लागत की समस्या भी बनी हुई है.
इंदौर मेट्रो रेल परियोजना की यलो लाइन और रिंग लाइन के साथ गांधी नगर डिपो का भी उल्लेख किया गया है. मूल प्रोजेक्ट साढ़े 32 किलोमीटर का है, जिसमें गांधी नगर डिपो, सुपर कारिडोर, भौंरासला चौराहा, एमआर-10, चंद्रगुप्त चौराहा, बापट चौराहा, विजय नगर, रेडिसन चौराहा, रोबोट चौराहा, खजराना, बंगाली, पलासिया, और एमजी रोड पर हाईकोर्ट तक के हिस्से को एलिवेटेड कॉरिडोर के रूप में दर्शाया गया है. इसके बाद हाईकोर्ट से राजवाड़ा, छोटा-बड़ा गणपति, रामचंद्र नगर, बीएसएफ से होते हुए एयरपोर्ट तक का 8.7 किलोमीटर का हिस्सा अंडरग्राउंड बताया गया है. जिसमें 10 स्टेशन बनेंगे। 22.62 किलोमीटर के एलिवेटेड कॉरिडोर पर 18 स्टेशन निर्मित किए जा रहे हैं.