मध्य प्रदेशराज्य

MP : अब बदलेगा एक और शहर का नाम, CM ने की घोषणा- जैसीनगर का नाम होगा ‘जय शिवनगर’

सागर : मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव गुरुवार को सागर जिले के जैसीनगर पहुंचे, जहां उन्होंने ‘मुख्यमंत्री अन्न सेवा जागरूकता’ कार्यक्रम का शुभारंभ किया और जिले को लगभग 200 करोड़ रुपए की विभिन्न विकास परियोजनाओं की सौगात देते हुए उनका शिलान्यास और उद्घाटन किया। इस मौके पर उन्होंने ‘जैसीनगर’ का नाम बदलकर ‘जय शिवनगर’ करने की घोषणा भी की। साथ ही यहां शहरी गैस वितरण योजना के लिए ‘सिंगल विंडो पोर्टल’ का भी शुभारंभ किया।

इस बारे में सोशल मीडिया पर जानकारी देते हुए मुख्यमंत्री मोहन यादव ने लिखा, ‘जैसीनगर का नाम ‘जय शिवनगर’ करने की घोषणा करता हूं। आज परम श्रद्धेय पंडित दीनदयाल उपाध्याय जी की जयंती के अवसर पर सागर जिले के जैसीनगर में अन्न सुरक्षा संकल्प समारोह अंतर्गत सिंगल क्लिक के माध्यम से ‘मुख्यमंत्री अन्न सेवा जागरूकता कार्यक्रम’ का शुभारंभ तथा लगभग 200 करोड़ रुपए की लागत के विभिन्न विकास कार्यों का भूमिपूजन एवं लोकार्पण कर क्षेत्रवासियों को शुभकामनाएं दीं। साथ ही स्वच्छ ऊर्जा की दिशा में सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूशन योजनांतर्गत ‘सिंगल विंडो पोर्टल’ का शुभारंभ भी किया।’

इस मौके पर जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में बताया गया कि, मध्य प्रदेश सरकार ने ऊर्जा क्षेत्र में बदलाव लाने के लिए शहरी गैस वितरण नीति 2025 पेश की है। इस नीति के तहत, सभी जिलों में नई पाइपलाइनों के माध्यम से पाइप्ड नेचुरल गैस (PNG) कनेक्शन उपलब्ध कराए जाएंगे। साथ ही वाहनों के लिए सीएनजी स्टेशन भी स्थापित किए जाएंगे, ताकि प्रत्येक घर को स्वच्छ और किफायती ईंधन उपलब्ध कराया जा सके। इसमें बताया गया कि सरकार का लक्ष्य निवेश आकर्षित करना और मध्य प्रदेश को हरित ऊर्जा के क्षेत्र में देश के अग्रणी राज्य के रूप में स्थापित करना है।

प्रेस रिलीज के अनुसार सिंगल विंडो पोर्टल से CNG स्टेशनों के संचालन के लिए NOC (अनापत्ति प्रमाण पत्र) और पाइपलाइन बिछाने की अनुमति (ROU) सहित अन्य सभी अप्रूवल और क्लीयरेंस मिलने में आसानी होगी। जिला कलेक्टरों को पोर्टल के माध्यम से ये अनुमतियां जारी करने का अधिकार होगा। आवेदक जिला स्तर पर आवेदन कर सकते हैं और 60 दिनों के भीतर NOC जारी कर दी जाएगी, जबकि कुल स्वीकृतियां देने में अधिकतम 77 दिनों का वक्त लगेगा।

इसमें आगे कहा गया कि PNG को पाइपलाइनों के माध्यम से उपभोक्ताओं के घरों तक सीधे और बिना रुकावट के पहुंचाया जाएगा, जिससे खाना पकाने और अन्य घरेलू उपयोगों के लिए निर्बाध गैस उपलब्धता सुनिश्चित होगी। इससे बार-बार सिलेंडर बुक करने और रीफिलिंग कराने की समस्या भी दूर हो जाती है। PNG, सामान्य गैस सिलेंडरों की तुलना में ज्यादा सुरक्षित भी है क्योंकि यह हवा से हल्की होती है और रिसाव की स्थिति में जल्दी ऊपर की तरफ फैल जाती है, जिससे आग लगने का खतरा कम होता है। इसमें सुरक्षा सुविधाएं शामिल हैं जो सिलेंडर विस्फोटों को रोकती हैं।

बता दें कि CNG आज उपलब्ध सबसे स्वच्छ ईंधनों में से एक है, जो डीजल और पेट्रोल की तुलना में काफी कम वायु प्रदूषण करती है। इस नेटवर्क की स्थापना से बुनियादी ढांचे के विकास में बड़ा पूंजी निवेश होगा और जिले में स्थानीय रोज़गार के अवसर पैदा होंगे।

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