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विद्युत सुरक्षा निदेशालय में हर साल फर्मों के नवीनीकरण की व्यवस्था समाप्त, अब पांच वर्ष में होगा रिन्यूअल

ऊर्जा मंत्री ने की समीक्षा, कहा, अब एनओसी के आवेदन की प्रक्रिया भी होगी ऑनलाइन

लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार के ऊर्जा एवं अतिरिक्त ऊर्जा स्रोत मंत्री श्रीकान्त शर्मा ने बुधवार को अतिरिक्त ऊर्जा स्रोत विभाग व विद्युत सुरक्षा निदेशालय की समीक्षा बैठक की। उन्होंने निर्देश दिया कि विद्युत सुरक्षा निदेशालय में फर्मों के पंजीकरण की प्रक्रिया को सरल बनाया जाए। उन्होंने कहा कि पंजीकृत फर्मों के हर साल नवीनीकरण की व्यवस्था को खत्म कर इसे 5 वर्ष तक किया जाए। उन्होंने नेडा के सौर ऊर्जा के लक्ष्य को भी निर्धारित अवधि में पूरा करने को कहा। यह भी निर्देशित किया कि भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस की सरकार की मंशा के अनुरूप तकनीक का उपयोग कर व्यवस्था सुधारें।

समीक्षा के दौरान मंत्री ने पाया कि विद्युत संबंधी कार्यों को करने वाली फर्मों को विद्युत सुरक्षा निदेशालय में पंजीकरण अनिवार्य है। अभी तक पंजीकृत फर्म को हर वर्ष पंजीकरण का नवीनीकरण कराना पड़ता है। इस प्रक्रिया में भ्रष्टाचार की भी शिकायतें आ रही थी। जिससे अनावश्यक लोगों को समस्याएं आ रही थी।

इसी के दृष्टिगत एक बार पंजीकरण कराने पर 5 वर्ष बाद नवीनीकरण की व्यवस्था किये जाने को कहा गया है। मंत्री द्वारा सभी श्रेणियों में व्यवसायिक व औद्योगिक कार्यों या अधिक लोड के कनेक्शन के लिए विद्युत सुरक्षा निदेशालय की एनओसी की प्रक्रिया को भी ऑनलाइन किये जाने के निर्देश दिए हैं। जल्द ही यह सभी सेवाएं शुरू की जाएंगी। जिससे लोगों को बाबुओं के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे।

नेडा की परियोजनाओं में ढिलाई पर जताई नाराजगी

नेडा की समीक्षा के दौरान उन्होंने निर्देशित किया कि 10700 मेगावाट सोलर ऊर्जा के उत्पादन के लक्ष्य को दिसंबर 2021 तक हर हाल में पूरा कर लिया जाए। इसके लिए मेगा परियोजनाओं, कुसुम ए व कुसुम सी पर विशेष फोकस रहे। उन्होंने नेडा द्वारा संचालित परियोजनाओं की धीमी प्रगति पर नाराजगी भी जताई।

सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने के प्रयासों के निर्देश

निर्देशित किया कि सभी सरकारी इमारतों, स्कूलों, अस्पतालों व नगर निगमों से संपर्क स्थापित कर वहां भी सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए प्रयास करें। बड़े सरकारी बकायेदार विभागों के बजट में इसका प्रावधान करवाएं जिससे भविष्य में इनकी देनदारियां कम हो सकें। आईजीआरएस पोर्टल व टॉल फ्री नंम्बर पर आने वाली शिकायतों के समय से निस्तारण के निर्देश दिए।

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