देश में बढ़ी बेरोजगारों की तादाद, अक्टूबर-दिसंबर 2020 में रही 10.3 प्रतिशत : NSO
नई दिल्ली, पीटीआइ। शहरी क्षेत्रों में सभी उम्र के लिए बेरोजगारी दर (Unemployment rate) अक्टूबर-दिसंबर 2020 में बढ़कर 10.3 प्रतिशत हो गई, जबकि इससे एक साल पहले के इन्हीं महीनों में यह 7.9 प्रतिशत थी। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) द्वारा किये गए आवधिक श्रम बल सर्वेक्षण में यह आंकड़ा सामने आया है। बेरोजगारी या बेरोजगारी दर (UR) को श्रम बल में बेरोजगार व्यक्तियों के प्रतिशत के रूप में परिभाषित किया जाता है। नौवें आवधिक श्रम बल सर्वेक्षण (PLFS) के अनुसार शहरी क्षेत्रों में सभी उम्र के लिए बेरोजगारी दर जुलाई-सितंबर 2020 में 13.3 प्रतिशत थी।
सर्वेक्षण के पाया गया कि शहरी क्षेत्रों में सभी उम्र के लिए श्रम बल भागीदारी दर अक्टूबर-दिसंबर, 2020 तिमाही में 37.3 प्रतिशत थी। जबकि इससे एक वर्ष पहले की इसी अवधि में यह 37.2 प्रतिशत थी और जुलाई-सितंबर, 2020 तिमाही के दौरान यह 37 फीसदी थी। श्रम बल का मतलब जनसंख्या के उस भाग से है जो वस्तुओं और सेवाओं के उत्पादन के लिए आर्थिक गतिविधियों को आगे बढ़ाने के लिए श्रम की आपूर्ति करता है। इसलिए इसमें रोजगार प्राप्त और बेरोजगार दोनों व्यक्ति शामिल हैं।
एनएसओ ने अप्रैल 2017 में पीएलएफएस की शुरुआत की थी। पीएलएफएस के आधार पर श्रम बल संकेतकों का अनुमान देते हुए एक तीन महीने का बुलेटिन तैयार किया जाता है। इसमें यूआर, श्रमिक जनसंख्या अनुपात (डब्ल्यूपीआर), श्रम बल भागीदारी दर (एलएफपीआर), वर्तमान में रोजगार और काम के उद्योग में व्यापक स्थिति के आधार पर श्रमिकों का वितरण और साप्ताहिक स्थिति (सीडब्ल्यूएस) जैसे संकेतक शामिल होते हैं।