मुंबई : ‘ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन’ यानि एआईएमआईएम के नेता अकबरुद्दीन ओवैसी ने एक चुनावी रैली में मराठा आरक्षण को अपना समर्थन दिया। यहां उन्होंने तेलंगाना की तर्ज पर मुस्लिम आरक्षण लागू करने की मांग भी उठाई। उन्होंने कहा,“महाराष्ट्र में मराठा नेताओं को मैं पूरी तरह से समर्थन दूंगा। वो मराठा आरक्षण के लिए संघर्ष कर रहे हैं। जब भी जरूरत हो, मैं उनका साथ दूंगा। लेकिन एक बात कहूंगा, कि हमारे तेलंगाना में मुसलमानों के लिए 4 प्रतिशत आरक्षण है। महाराष्ट्र में क्यों नहीं है? ऐसा क्यों है? इसका कारण यह है कि हमारा इतिहास मजबूत नहीं है। लोग हमेशा इल्जाम लगाते हैं।
ओवैसी ने अपनी पार्टी पर सत्ताधारी पक्ष से अच्छे रिश्ते को लेकर कसे जा रहे तंज पर भी राय रखी। कहा, पहले राज शेखर रेड्डी मुख्यमंत्री थे, फिर चंद्रशेखर राव आ गए और उनकी टीम में हो गए। अब कांग्रेस के रेवंत रेड्डी आए और फिर, अकबर और असद भी उनके साथ हो गए। माफ करना मेरे भाई, मुख्यमंत्री के पास हम नहीं रहते, वो हमारे पास रहते हैं। जो भी मुख्यमंत्री होता है, उसे हमारी जरूरत होती है। अगर वो हमारे पास नहीं रहेगा, तो फिर राज करना मुश्किल हो जाएगा। हमें उनकी जरूरत है, न कि हमें उनकी। यही ताकत है, यही हमारे इतिहास की ताकत है।”
उन्होंने आगे कहा, “कोई राम भक्त है तो मैं उसी तरह मोहम्मद और रसूल अल्लाह का चाहने वाला गुलाम हूं। मैं रसूल अल्लाह का आशिक हूं और आज मैं उनके आशिकों के बीच खड़ा हूं। रसूल के इश्क का वास्ता देते हुए, मैं यही अपील करता हूं कि वक्त बर्बाद करने का नहीं है, यह वक्त एक होने, संगठित होने और मुक्त होने का है। हम सबको एक साझा मंच पर इकट्ठा होना है। खुदा की कसम, हमसे मुकाबला तो दूर, कोई हमारी तरफ उंगली भी नहीं उठा सकेगा, बस शर्त यह है कि हम एकजुट हो जाएं।”