नई दिल्ली। संस्कृत में मदार को ‘अर्क’ के नाम से जाना जाता है। इसका अर्थ सूर्य भी होता है। इसकी पत्तियां स्निग्ध, मांसल सी और कोमल होती हैं। ये पौधा दो प्रकार का होता है, एक प्रकार में पुष्प एकदम श्वेत होते हैं। पत्तियां कुछ छोटी तो पौधा वृक्ष की तरह आकार लेता हुआ होता है। वहीं दूसरे प्रकार में पत्तियां बड़ी होती हैं, पौधा छोटा और पुष्प बैगनी रंग लिए होता है।
मदार यानि आक का पौधा विषैला होता है। इसके पत्ते या फूल तोड़ने पर इसमें से दूध का श्राव होता है। इसका इस्तेमाल पूजा में भी किया जाता है। लेकिन क्या आपको पता है कि यह पौधा तमाम औषधीय गुण रखता है। विषैला होते हुए भी इसमें ऐसे गुण होते जिसे जानकर आपको यकीन नहीं होगा।
-बताया जाता है कि इससे निकलने वाले दूध को यदि झड़ते बालों में लगाया जाए तो उस स्थान पर बाल आ जाते है।
-शुगर लेवल कम करने में भी मदर के पत्ते सहायक होते हैं। इसकेलिए आप इसकी पत्ते ले इसे उल्टा कर लें जिधर खुरदरापन दिखाई दे उस स्थान वाली पत्ती को तवे पर रखकर थोड़ा सा गर्म कर लें। और इसे पैर से सटाते हुए मोजा पहन ले।
-साथ ही यह आपके पेट को कम करने में सहायक होता है।
-यदि आपके नाखूनों में किसी भी तरह का संक्रमण हो जाए तो आप मदार के पौघे की जड़ को पानी के साथ अच्छी तरह घिसकर नाखून के उपर लगा दें।
-इसके अलावा इसके फल जब पक कर बीज प्रसारण के लिए चिटकते हैं तो उनसे रूई निकलती है। इस रूई से बने तकिये को लगा कर सोने से ‘अधकपारी’ शिरोपीड़ा में लाभ होता है।
-फोडा ठीक ना हो रहा हो तो आप मदार की जड़ को अच्छी तरह से पीस लें और उसका लेप फोडे पर लगाएं। इस उपाय से फोडा जल्दी ठीक हो जाता है।