नाम लिए बिना चीन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का बड़ा हमला
विकास में सहयोग करने के बहाने किसी देश को घुटने टेकने पर मजबूर नहीं करता भारत
मॉरिशस ने कोविड- 19 महामारी के खिलाफ प्रभावी कदम उठाया जिसमें भारत सहायता पहुंचाकर खुशी महसूस कर रहा है : प्रधानमंत्री मोदी
नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नाम लिए बिना चीन पर जर्बदस्त हमला बोला। प्रधानमंत्री ने भारत की मदद से तैयार मॉरिशस सुप्रीम कोर्ट बिल्डिंग के उद्घाटन भाषण में कहा कि भारत वो देश नहीं जो विकास परियोजनाओं के बहाने पड़ोसियों को जाल में फांसता है और फिर अपना उपनिवेश बनाने की कोशिश करता है। पीएम ने कहा कि इतिहास ने हम सबक दिया है विकास भागीदारियों के नाम पर कई देशों को निर्भरता भागीदारियों के लिए मजबूर किया गया। इससे औपनेविशिक और साम्राज्यवादी शासन का आरंभ हुआ। इसने वैश्विकत ताकतों के अलग-अलग ब्लॉक बने। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत की पड़ोसियों के साथ-साथ दुनिया के अन्य देशों के साथ विकास भागीदारी के पीछे की भावना भी समझाई। उन्होंने अफगानिस्तान से लेकर नाइजीरिया तक का उदाहरण दिया और कहा कि भारत देशों की संप्रभुता, वैश्विक विविधता का सम्मान करता है।
मोदी ने कहा, ‘भारत की डिवेलपमेंट पार्टनरशिप के केंद्र में सम्मान, विविधता, भविष्य का ख्याल और टिकाऊ विकास होता है।’ उन्होंने कहा, ‘विकास में सहयोग के पीछे भारत के लिए सबसे बड़ा मौलिक सिद्धांत है- दूसरे पार्टनर्स का सम्मान करना। यही हमारी प्रेरणा है। यही कारण है कि हम किसी देश में विकास परियोजानओं के लिए कोई शर्त नहीं रखते।’
प्रधानमंत्री ने आगे कहा, ‘भारत की डिवेलपमेंट पार्टनरशिप्स बहुआयामी हैं। वाणिज्य से संस्कृति तक, ऊर्जा से इंजीनियरिंग तक, स्वास्थ्य से आवास तक, आईटी से इन्फ्रास्ट्रक्चर तक, खेल से विज्ञान तक- भारत ने पूरी दुनिया के देशों के साथ काम कर रहा है।’ उन्होंने भारत के वैश्विक सहयोग की चर्चा की और कहा, ‘अगर भारत को अफगानिस्तान में संसद भवन बनाने का गौरव हासिल है तो नाइजर में महात्मा गांधी कन्वेंशन सेंटर के निर्माण में भूमिका निभाने की भी खुशी है।’ पीएम ने कहा कि भारत किसी की मदद कर कोई अजेंडा नहीं पालता बल्कि इसे अपने सौभाग्य समझता है। उन्होंने कहा, ‘भारत को न केवल आपके वर्तमान में मददगार बनकर गौरव की अनुभूति होती है बल्कि आपके युवाओं और अगली पीढ़ी के लिए बेहतर भविष्य के निर्माण में मदद करना भी अपना सौभाग्य समझता है।’ इससे पहले मोदी ने कहा कि भारत की मदद से तैयार मॉरिशस के सुप्रीम कोर्ट की नई बिल्डिंग को दोनों देशों के बीच विशेष मित्रता को दर्शता है। इसके उद्घाटन के मौके पर पीएम ने कहा, ‘भारत और मॉरिशस के बीच विशेष मित्रता ने एक और मंजिल तय की है।
पोर्ट लुई में सुप्रीम कोर्ट का नया भवन दोनों देशों के आपसी सहयोग और मूल्यों की निशानी है।’ पीएम ने कहा कि कुछ महीने पहले ही मलेशिया में भारत की मदद वाले मेट्रो प्रॉजेक्ट और एक अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस अस्पताल का संयुक्त उद्घाटन किया गया था। पीएम ने कहा, ‘मुझे यह जानकर खुशी होती है कि दोनों परियोजनाएं मॉरिशस के लोगों के लिए उपयोगी साबित हुई हैं।’