बाड़मेर : राजस्थान के बाड़मेर में गुरुवार को हुए जहां मिग विमान गिरा, उसके आधा किलोमीटर के दायरे में आग फैल गई। चारों तरफ मलबा बिखर गया। करीब 15 फीट के क्षेत्र में गहरा गड्ढा हो गया। पिछले साल 24 दिसंबर को भी भारतीय वायुसेना का एक मिग-21 लड़ाकू विमान राजस्थान के जैसलमेर के पास गिर गया था। हादसे में पायलट विंग कमांडर हर्षित सिन्हा की मौत हो गई थी। विंग कमांडर हर्षित सिन्हा ने नियमित उड़ान के लिए जैसलमेर एयरफोर्स स्टेशन से उड़ान भरी थी। इससे पहले अगस्त 2021 में बाड़मेर में एक मिग-21 विमान क्रैश हुआ था। यह फाइटर जेट प्रशिक्षण उड़ान पर था। टेक ऑफ के बाद इसमें तकनीकी खराबी आ गई और विमान एक झोपड़ी पर जा गिरा। विमान क्रैश होने से पहले पायलट ने खुद को बचा लिया था।
रूस-चीन के बाद भारत में सबसे ज्यादा मिग-21
रूस और चीन के बाद भारत में सबसे अधिक मिग-21 का इस्तेमाल होता है। 1964 में इस विमान को पहले सुपरसोनिक लड़ाकू विमान के तौर पर वायु सेना में शामिल किया गया था।
करगिल युद्ध में मिग-21 ने अहम भूमिका निभाई
रूस में शुरुआती जेट बने थे। फिर भारत ने इस विमान को निर्माण (असेंबल) करने का अधिकार और तकनीक भी हासिल कर लिया था। तब से अब तक मिग-21 ने 1971 के भारत-पाक युद्ध, 1999 के करगिल युद्ध समेत कई मौकों पर अहम भूमिका निभाई है। रूस ने तो 1985 में इस विमान का निर्माण बंद कर दिया, लेकिन भारत इसके उन्नत संस्करण का इस्तेमाल करता रहा है।
राजस्थान में आठ साल के अंदर सात लड़ाकू विमान क्रैश
25 अगस्त 2021: मातासर भुरटिया में मिग-21 बाइसन क्रैश, पायलट सुरक्षित।
15 मार्च 2017: शिवकर के पास सुखोई- 30 क्रैश, पायलट सुरक्षित।
10 सितंबर 2016: मालियों की ढाणी बाड़मेर में मिग-21 क्रैश, पायलट सुरक्षित।
27 जनवरी 2015: बाड़मेर के शिवकर रोड पर मिग-21 क्रैश, पायलट सुरक्षित।
15 जुलाई 2013: उत्तरलाई से 4 किलोमीटर दूर बांदरा में मिग-27 क्रैश, पायलट सुरक्षित।
7 जून 2013: उत्तरलाई से 40 किलोमीटर दूर सोडियार में मिग-21 क्रैश, पायलट सुरक्षित।
12 फरवरी 2013: उत्तरलाई से महज 7 किलोमीटर दूर अनाणियों की ढाणी कुड़ला के पास मिग-21 क्रैश, पायलट सुरक्षित।