मध्यप्रदेश में लापरवाह अधिकारी कर्मचारियों पर सख्त कार्रवाई,4 क्लर्क-सचिव निलंबित
भोपाल : मध्यप्रदेश में लापरवाह अधिकारी कर्मचारियों (MP Negligent officer employees) पर कार्रवाई का सिलसिला जारी है। दरअसल शासकीय कार्य में अनियमितता बरतने और लापरवाही के कारण एक तरफ जहां कई कर्मचारियों पर निलंबन (Suspend) की कार्रवाई की गई है। वहीं अन्य को शो कॉज नोटिस (Notice) थमाए गए हैं। जबकि कई अन्य कर्मचारियों के वेतन काटे जाने के निर्देश दिए गए हैं।
बड़ी कार्रवाई नरसिंहपुर जिले में की गई है। जहां जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के निरीक्षण के बाद कलेक्टर रोहित सिंह ने अनियमितता देखते हुए 3 लिपिकों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। कलेक्टर रोहित सिंह ने एसडीएम राजेश शाह के अंतिम प्रतिवेदन के आधार पर यह कार्रवाई की है। जबकि तत्कालीन प्रभारी डीईओ जेएस विल्सन को कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया गया है।
दरअसल सभी कर्मचारी प्राइवेट स्कूल की मान्यता और नवीनीकरण में गड़बड़ी के कारण से कलेक्टर ने विकास खंड शिक्षा अधिकारी कार्यालय में पदस्थ सहायक ग्रेड 3 अतुल मिश्रा, जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में पदस्थ लाल किशोर कौरव और जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के लेखापाल राजेश नामदेव को निलंबित करने की कार्रवाई की।
अतुल मिश्रा पर सुनियोजित ढंग से सांठगांठ कर 27 लाख की शासकीय राशि के गबन के आरोप लगे हैं। जिसकी जांच की जा रही है जबकि ललित किशोर की स्वीकृति नहीं मिल पाने के कारण जांच प्रक्रिया प्रभावित हो रही है। जिसके कारण उन पर निलंबन की गाज गिरी है। वहीं अशासकीय स्कूल की मान्यता और उनकी नवीनीकरण के प्रकरण में गड़बड़ी पाए जाने के कारण राजेश नामदेव को निलंबित किया गया है।
वहीं एक अन्य कार्रवाई राजधानी भोपाल में की गई है। जिले की जनपद पंचायत बंडा की ग्राम पंचायतों में हुए विकास कार्यों को लेकर समीक्षा की गई। इस दौरान लापरवाह सचिवों के प्रति नाराजगी जताते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई के निर्देश दे दिए गए हैं। जिला पंचायत सीईओ ऋतुराज के निर्देश के अनुसार एक सचिव को निलंबित किया गया जबकि 14 सचिव के वेतन काटे जाने और 9 रोजगार सहायक के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की गई है।
बता दें कि ग्राम पंचायत ने विभाग की योजना के अनुसार कार्य की समीक्षा बैठक के दौरान प्रधानमंत्री आवास सहित स्वच्छ भारत मिशन, मनरेगा आदि कार्यों की जानकारी ली गई। ऐसे में जिन ग्राम पंचायत के सचिव बैठक में नहीं पहुंचे थे, उनके 1 दिन के वेतन काटे जाने के निर्देश दिए गए हैं। साथ ही कलखेड़ा में स्वच्छ भारत मिशन योजना का लक्ष्य पूरा नहीं करने पर सचिव संतोष ओथावर को निलंबित कर दिया गया।
इतना ही नहीं सीईओ के निर्देश पर रूपनारायण जाट सहित दशरथ मीणा के 1 महीने के वेतन काटे जाने के निर्देश दिए गए हैं। जबकि रेखा पटेल और ओम प्रकाश शर्मा के 5 दिन के वेतन काटे जाएंगे। अन्य सचिव में अनूप सिंह रामफूल बैरागी के 15 दिन के वेतन काटने के निर्देश दिए गए हैं जबकि बालमपुर के वीरेंद्र यादव के 3 दिन के वेतन काटे जाएंगे। इसके अलावा जमुना प्रसाद, लज्जा नागर, नारायण मीणा, महेंद्र तिवारी, छगनलाल शर्मा और गुलाब सिंह मेहरा के 1 दिन के वेतन काटे जाने के निर्देश दिए गए हैं।
इसके अलावा नौ रोजगार सहायक के खिलाफ भी कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। जिसमे बज्रमोहन शर्मा के अलावा राजेश मीणा और रामस्वरूप, महेश गुर्जर, परमेश्वर, बसंती सिसोदिया, मनोज मीणा, नरेंद्र विश्वकर्मा और वीरेंद्र यादव के खिलाफ यह कार्रवाई की गई है।
एक अन्य कार्रवाई नरसिंहपुर जिले में की गई है। जहां जिला मुख्यालय से लगे नरसिंहपुर छिंदवाड़ा मार्ग पर लक्ष्मी नारायण अस्पताल में बीते दिनों एक मरीज की मौत हो गई है। इस मामले में स्वजनों की ओर से प्रशासन को ज्ञापन देकर मामले की जांच की मांग की गई। जिस पर स्वास्थ्य विभाग ने लक्ष्मी नारायण अस्पताल को नोटिस जारी कर दिया और 1 सप्ताह में जवाब देने के निर्देश दिए गए हैं। साथ ही तीन चिकित्सकों की एक जांच टीम भी तैयार की गई है।