भोपाल : डायबिटीज एक अपरिवर्तनीय बीमारी है जो अनियंत्रित हाई ब्लड शुगर लेवल से उत्पन्न होती है. इस बीमारी के सबसे ज्यादा मरीज भारत में ही है, इस भारत को डायबिटीज की राजधानी कहा जाता है. डायबिटीज दो प्रकार की होता है (टाइप 1 और टाइप 2). टाइप 1 डायबिटीज एक ऑटोइम्यून बीमारी है जिसमें शरीर का इम्यून सिस्टम पैंक्रियाज में इंसुलिन बनाने वाली कोशिकाओं पर हमला करती है और नष्ट कर देती है. टाइप 2 डायबिटीज एक ऐसी स्थिति है जहां शरीर उत्पादित इंसुलिन के लिए प्रतिरोधी हो जाता है या इंसुलिन ब्लड शुगर लेवल को प्रभावी ढंग से नियंत्रित करने के लिए पर्याप्त इंसुलिन का उत्पादन नहीं करता है.
डायबिटीज होने पर शरीर में कई तरह से संकेत मिलते हैं. इनमें से एक है आंखें. डायबिटीज के आंखों पर कई प्रभाव हो सकते हैं और यदि इसे अनियंत्रित छोड़ दिया जाए तो यह दृष्टि हानि का कारण बन सकता है.
डायबिटीज के लक्षण
धुंधली दृष्टि या सब कुछ ज्यादा धुंधला दिखाई देना
बार-बार दृष्टि बदलना कभी-कभी दिन-प्रतिदिन
दृष्टि हानि
रंगों को समझने या पहचानने में असमर्थ
स्पॉट्स या डार्क स्ट्रिंग्स (जिसे फ्लोटर्स भी कहा जाता है)
प्रकाश की चमक.
आँखों के कोनों में बेचैनी.
डायबिटिक आंख को कैसे कंट्रोल करें
डायबिटिक आंखों को मैनेज करने के लिए ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करना, एक हेल्दी लाइफस्टाइल बनाए रखना और दृष्टि में किसी भी बदलाव की निगरानी करना शामिल है. डायबिटिक आंखों को प्रबंधित करने के लिए नीचे कुछ सुझाव दिए गए हैं:
ब्लड शुगर लेवल को हमेशा कंट्रोल में रखें
आंखों के अक्सर जांच करवाएं
दृष्टि में किसी भी तरह का बदलाव होता है तो डॉक्टर को दिखाएं
हाई ब्लड प्रेशर, कोलेस्ट्रॉल जैसी समस्याओं को मैनेज करें
अच्छा खानपान लें और रोजाना व्यायाम करें