मध्य प्रदेशराज्य

MP : युवाओं को लोन दिलाने खुद जमानतदार बनेगी सरकार

भोपाल : प्रदेश के अन्य पिछड़ा वर्ग और अल्पसंख्यक वर्ग के युवाओं को आकर्षित करने राज्य सरकार मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम और स्वरोजगार योजना लाने जा रही है। वहीं प्रदेश में तीस साल से अधिक पुरानी सरकारी और निजी बहुमंजिला आवासीय ईमारतों को तोड़कर नई बहुमंजिला इमारत तैयार करने रिडेवलपमेंट की पॉलिसी को भी लागू की जाएगी। इसके लिए आज मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में आयोजित कैबिनेट बैठक में चर्चा की गई।

अन्य पिछड़ा वर्ग और अल्पसंख्यक वर्ग के युवाओं के लिए लाई जा रही मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम और स्वरोजगार योजना के तहत बारहवीं पास 18 से 40 वर्ष के युवाओं को स्वयं का उद्यम स्थापित करने के लिए बैंको से ऋण दिलाया जाएगा और इस पर तीन प्रतिशत की दर से साल साल तक ब्याज अनुदान दिया जाएगा। कर्ज के लिए गारंटी भी राज्य सरकार देगी।

इस योजना में पिछड़ा वर्ग के युवाओं को पचास लाख रुपए तक की विनिर्माण इकाई, 25 लाख रुपए तक की सेवा इकाई और खुदरा व्यवसाय की योजनाओं को शामिल किया जाएगा। योजना में मध्यप्रदेश के मूल निवासी, बारह लाख रुपए तक की वार्षिक आय वाले परिवार के युवा पात्र होंगे बशर्ते कि उन्होंने केन्द्र या राज्य सरकार की किसी अन्य स्वरोजगार योजना का लाभ नहीं लिया हो।

योजना में बारह दिन का आॅनलाईन उद्यमिता विकास का प्रशिक्षण भी दिलाया जाएगा। इस योजना में अगले वर्ष तक तीस हजार हितग्राहियों को लाभान्वित करने की योजना है। पिछड़े वर्ग के युवाओं को विदेश में स्वरोजगार दिलाने की योजना पर भी विचार किया गया। अनुसूचित जाति कल्याण विभाग द्वारा संत रविदास स्वरोजगार योजना, डॉ भीमराव अंबेडकर आर्थिक कल्याण योजना एवं मुख्यमंत्री अनुसूचित जाति विशेष परियोजना वित्त पोषण योजनाओं की स्वीकृति का अनुसमर्थन भी कैबिनेट से कराया गया।

प्रदेश में तीस साल या इससे अधिक पुरानी जर्जर बहुमंजिला इमारतों को तोड़कर उनके स्थान पर नई बहुमंजिला इमारत बनाने के लिए मध्यप्रदेश सरकार नई आवास पुनर्विकास (हाउसिंग रीडेवलपमेंट) पॉलिसी लागू करेगी। इस नीति पर भी आज कैबिनेट में चर्चा की गई। इसके तहत लीजहोल्ड से भू स्वामी अधिकार में परिवर्तन करने अब कोई शुल्क नहीं लगेगा।

डेवलपर को आश्रय शुल्क भी नहीं देना होगा और एलआईजी, ईडब्ल्यूएस आवास बनाने, सम्पत्ति बंधक रखने से भी छूट मिलेगी। भूमि विकास नियमों में निर्धारित एफएआर से आधा प्रतिशत अतिरिक्त एफएआर मिलेगा। भूतल कवरेज चालीस प्रतिशत मान्य होगा। कन्विनियन्स शॉपिंग हेतु कुल एफएआर का साढ़े सात प्रतिशत क्षेत्रफल स्वीकार्य होगा।

खेलो इंडिया यूथ गेम्स के लिए निर्माण कार्य और उपकरण खरीदने के लिए 117 करोड़ रुपए और मरम्मत कार्य के लिए दो करोड़ रुपए का प्रावधान करने के प्रस्ताव पर भी चर्चा की गई। प्रदेश में सामाजिक न्याय एवं नि:शक्तजन कल्याण विभाग का नाम बदलकर सामाजिक न्याय एवं दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग किया जाएगा। इस प्रस्ताव पर भी कैबिनेट में चर्चा हुई।

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