चंडीगढ़ : हरियाणा के उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने कहा कि अब तक 35 आरओबी बनकर तैयार हो चुके हैं और 52 आरओबी अगले छह माह में बन जाएंगे । साथ ही 43 आरओबी के निर्माण के लिए ड्राइंग एवं अन्य औपचारिकता पूरी हो गई हैं। जल्द ही इन पर भी काम शुरू हो जाएगा।
उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने कहाकि प्रदेश सरकार पिछले सवा चार साल से सड़क तंत्र को मजबूत करने में लगी गई है, इस दौरान 15,005 किलोमीटर लम्बाई की सड़कों की मरम्मत की गई और मजबूतीकरण किया गया तथा 1,550 किलोमीटर नया सड़क नेटवर्क तैयार किया गया। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के अंतर्गत लगभग 2,500 किलोमीटर ग्रामीण सड़क का आधारभूत ढांचा बेहतर किया गया। इसी प्रकार 1,360 किलोमीटर लम्बाई की सड़क का नाबार्ड के फंड से सुधारीकरण किया गया। कुल मिलाकर 20,399 किलोमीटर स्टेट फंड और केंद्र सरकार द्वारा दी गई आर्थिक सहायता से एमडीआर, ओडीआर, लिंक सड़कें और स्टेट हाइवेज का बेहतरीन तरीके से सुधार किया है।
उप मुख्यमंत्री ने जानकारी दी कि करनाल, अम्बाला, पिंजौर तथा झज्जर समेत 12 नेशनल हाइवेज के बाईपास बनाए गए हैं। साथ ही जींद और उचाना में भी बाईपास की स्वीकृति मिल गई है जल्द ही काम शुरू हो जाएगा। राज्य सरकार द्वारा उठाये गए इन सकारात्मक क़दमों से शहरों में यातायात का दबाव कम होगा और जाम की समस्या से मुक्ति मिलेगी। दुष्यंत चौटाला ने बताया कि यमुनानगर शहर से पौंटा साहिब की तरफ जाने वाली सड़क पर भी वाहनों की अधिकता के कारण जाम की समस्या बनी रहती है। इसके लिए केंद्र सरकार से अनुरोध किया कि इस नेशनल हाइवे पर शहर में ट्रैफिक के दबाव को कम करने के लिए जगाधरी और यमुनानगर शहर के बाहर से एक बाईपास बनाया जाए, इसके लिए नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ़ इंडिया से स्वीकृति मिल चुकी है।
डिप्टी सीएम ने कहा कि हमने दो साल पहले हरियाणा को एमडीआर और ओडीआर सडकों पर बने रेलवे की फाटक से मुक्ति दिलाने के लिए फ़ाटक-मुक्त हरियाणा करने की दिशा में कदम उठाया था। इसके लिए राज्य में आरओबी और आरयूबी निर्माण का खाका तैयार किया गया। अब तक 35 आरओबी बनकर तैयार हो चुके हैं और 52 आरओबी अगले छह माह में बन जाएंगे। साथ ही 43 आरओबी के निर्माण के लिए ड्राइंग एवं अन्य औपचारिकता पूरी हो गई हैं। जल्द ही इन पर भी काम शुरू हो जाएगा। उन्होंने उम्मीद जताई कि जल्द ही राज्य की सभी एमडीआर और ओडीआर सड़कें फाटक-मुक्त हो जाएंगी। उन्होंने केंद्र सरकार द्वारा सहयोग दिए जाने पर आभार व्यक्त करते हुए कहा कि प्रदेश को 2 ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस-वे दिए गए हैं। इनमे एक डबवाली से पानीपत तक बनेगा तथा दूसरा हिसार से रेवाड़ी ( वाया तोशाम , बाढड़ा , महेंद्रगढ़) तक निर्मित किया जाएगा। इनकी डीपीआर बन चुकी है और भारतमाला के फेज-ए के तहत जल्द ही जमीन अधिगृहीत की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
दुष्यंत चौटाला ने जानकारी दी कि पिछले तीन वर्षों में राज्य में लगभग 350 ऐसे ब्लैक-स्पॉट चिन्हित किए गए हैं जहां पर विभिन्न सड़क दुर्घटनाएं होती रहती हैं, लोगों की जानें भी गई हैं। इन सभी ब्लैक स्पॉट्स पर काम चल रहा है। इनके अलावा केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने 300 अतिरिक्त ब्लैक-स्पॉट्स को भी ठीक करने की मंजूरी दी है। उन्होंने यह भी बताया कि भविष्य में नेशनल हाइवेज की सड़क पर जिस भी वाहन का एक्सीडेंट होगा, अगर उसमें कोई व्यक्ति घायल होता है या किसी की मृत्यु होती है तो उस मामले में पुलिस द्वारा एफआईआर के साथ पीडब्लूडी विभाग के साथ जिओ-टैगिंग की जाएगी। इससे एक्सीडेंट संभावित क्षेत्र का पता चल जाएगा, ताकि भविष्य में उस स्थान पर आरओबी, आरयूबी बनाने अथवा कट को बंद करने की दिशा में कदम उठाया जा सके। हिसार में जल्द ही करीब 750 करोड़ रूपए की लागत से एलिवेटिड रोड बनाया जाएगा, डीपीआर बन चुकी है। इसका जल्द ही काम शुरू हो जाएगा।
दुष्यंत चौटाला ने बताया कि एक मार्च 2024 से प्रदेश में देशी शराब को प्लास्टिक की बोतलों में बेचने पर प्रतिबंध लगा दिया है। ऐसा करने वाला हरियाणा देश का पहला राज्य है। डिप्टी सीएम, जिनके पास आबकारी एवं कराधान विभाग का प्रभार भी है। उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने बताया कि जीएसटी संग्रह की पिछले चार साल की 30 प्रतिशत बढ़ोत्तरी हुई है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार को इस वित्त वर्ष में 16 प्रतिशत की अभी तक बढ़ोतरी हो चुकी है जिससे 32 हजार 456 करोड़ रुपये टैक्स के रूप में प्राप्त हुए हैं। उन्होंने बताया कि हालांकि सरकार ने 36 हजार करोड़ रुपये का जीएसटी संग्रह का लक्ष्य रखा था, पूर्ण विश्वास है कि उसको समय रहते पूरा कर लिया जाएगा।
डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने बताया कि प्रदेश सरकार को वर्ष 2019-2020 में एक्साइज टैक्स 6361 करोड़ रुपये प्राप्त हुआ था। पिछले साल 2023 में आबकारी-वर्ष जुलाई तक 9687 करोड़ रुपये टैक्स मिला जबकि इस बार 28 जनवरी 2024 तक ही एक्साइज टैक्स 9232 करोड़ एकत्रित हो चुका है। उन्होंने जानकारी दी कि हालांकि इस आबकारी-वर्ष में 10 हजार 500 करोड़ रुपए का लक्ष्य था, परन्तु उन्हें उम्मीद है कि आबकारी वर्ष पूर्ण होने तक राज्य सरकार को लक्ष्य से कहीं ज्यादा 11 हजार 500 करोड़ का टैक्स प्राप्त हो जाएगा।