अभिमान को नष्ट करने के लिए प्रभु स्वयं अवतार लेते है इसी को लीला कहते है-अरविंद जी महाराज
लखनऊ: भारतीय ब्राह्मण महासभा के तत्वावधान में ठाकुरगंज बाबा गोमती दास स्थल श्री परशुराम जी मंदिर घास मंडी ठाकुरगंज में 3 मई से चल रहे श्री #परशुराम जन्मोत्सव अष्टदशम समारोह के अन्तर्गत चतुर्थ दिवस श्री परशुराम जी मंदिर में कथा व्यास श्री अरविंद जी महाराज ने बलि वामन चरित्र का व्याख्यान किया कि अच्छे कर्म करने का भी जब सतोगुणी अभिमान आता है तब भगवान अपने भक्त का अभिमान दूर करते है इसके लिये चाहे उन्हें अवतार भी लेना पड़े।राजा बलि में कब दान देने का अभिमान बढ़ गया तब भगवान को वामन का रूप धारण करना पड़ा।
नवम स्कंध में सूर्य वंश और चंद्र वंश का वर्णन करते हुए बताया कि हैहय वंश में जान लेकर दत्तात्रेय भगवान की उपासना करके सहस्रबाहु का अभिमान बढ़ गया तब भगवान परशुराम को अवतार लेना पड़ा उन्होंने इसका बलाभिमान नष्ट किया।कंश का अभिमान नष्ट करने के लिए भगवान को श्री कृष्ण चंद्र का अवतार लेना पड़ा। व्यास जी ने कथा का सार बताते हुए कहा कि अभिमान किसी भी प्रकार का हो जब जीव में बढ़ता है तब भगवान ही उसका विनास करते है भगवान के इसी कार्य को लीला कहा जाता है।
आज भागवत में श्री कृष्ण भगवान के जन्मोत्सव का विस्तार से वर्णन हुआ सुंदर झांकी हुई भक्तों के द्वारा बनाये गये भाँति भाँति के प्रसाद खिलौने आदि का वितरण किया गया।श्री परशुराम जन्मोत्सव में वैष्णवी डांस इंस्टीट्यूट द्वारा सुश्री नेहा वर्मा के नृत्य निर्देशन में गणेश वंदना शिव स्तुति श्री कृष्ण गोविंद हरे मुरारी रासलीला समूह नृत्य का शानदार सांस्कृतिक कार्यक्रम तान्या सक्सेना,कुसमा,खुशबू ,पारुल यादव ,चेष्ठा श्रीवास्तव,नित्या,इरीना,शक्ति,तृषा द्वारा सांस्कृतिक कथक शैली में प्रस्तुत किया गया।
कार्यक्रम संयोजक अनुराग पांडेय ने बताया कि आज की कथा में ममता चैरिटेबल ट्रस्ट के संस्थापक श्री राजीव मिश्रा जी सेंट जोसफ़ स्कूल के डायरेक्टर श्री राजेश अग्रवाल श्री मती सीमा अग्रवाल नव संवत्सर महोत्सव समिति के संरक्षक श्री विजय दीक्षित जी का आगमन हुआ समिति के द्वारा अतिथियों का अंगवस्त्र व स्मृति चिन्ह देकर स्वागत किया गया व सभी से दिनांक 10 मई को अक्षय तृतीया को श्री परशुराम जी जन्मोत्सव के दिन अवश्य पधारने का निवेदन किया गया।