अन्तर्राष्ट्रीय

कांगो में संयुक्त राष्ट्र शांति सेना में दो भारतीय जवान शहीद

नई दिल्ली: अफ्रीकी देश लोकतांत्रिक गणराज्य कांगो में भारत के सेंट्रल आर्म्ड पुलिस फ़ोर्स ” बॉर्डर सिक्योरिटी फ़ोर्स ” के दो बहादुर भारतीय शांति सैनिकों ने अपनी जान गवाई है। ये दोनों भारतीय सैनिक मोनुस्को (लोकतांत्रिक गणराज्य कांगो में संयुक्त राष्ट्र मिशन) के हिस्सा थे।

विदेश मंत्री एस.जयशंकर ने इस घटना पर अपना दुःख जाहिर किया है। दोनों जवान कांगों में हुए हिंसक प्रदर्शन के दौरान मारे गये। भारत के विदेश मंत्री का कहना था कि इन हमलों के अपराधियों को जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए और उन्हें न्याय के कटघरे में खड़ा किया जाना चाहिए। 

हाल ही में कांगो में असैन्य नागरिक सशस्त्र समूहों ने भारतीय सेना परिचालन ठिकानों, अस्पताल में लूटपाट का भी प्रयास किया था लेकिन शांति सैनिकों ने संयुक्त राष्ट्र के आदेश और नियमों के अनुसार कड़ी कार्रवाई करके लूट के प्रयासों को विफल कर दिया। गौरतलब है कि कांगो में 1999 से ही भारतीय सेना की टुकड़ी तैनात है। कांगो में इस समय दुनिया की सबसे बड़ी शांति सेना तैनात है। यहां अलग -अलग देशों से करीब 20 हजार सैनिक तैनात हैं। भारतीय सेना के अधिकारियों के मुताबिक, भारत के चार हजार सैनिक कांगो में तैनात हैं। 

दो महीने पहले भी कांगो में संयुक्त राष्ट्र शांति सेना में शामिल भारतीय सेना के जवानों पर विद्रोहियों ने हमला कर दिया था। यह हमला 22 मई को किया गया था। इस हमले के दौरान विद्रोहियों ने गोलीबारी की थी और संयुक्त राष्ट्र और कांगो आर्मी के टिकाने पर कब्जा करने की कोशिश की थी। लेकिन जैसे ही हमला हुआ था भारतीय सेना के जवानों ने डटकर जवाब देते हुए विद्रोहियों को खदेड़ दिया था। 

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