उद्धव ठाकरे ने बगावत के बाद महाराष्ट्र में जीती पहली लड़ाई, BJP को लगा झटका; एकनाथ शिंदे भी खुश
मुंबई ; महाराष्ट्र में सरकार गिरने के बाद गुरुवार को 15 जिलों की 238 ग्राम पंचायतों में आम चुनाव के लिए मतदान हुआ। सत्ता हस्तांतरण के बाद पहली बार हुए इन चुनावों के नतीजे शुक्रवार को घोषित किए जा रहे हैं। वोटों की गिनती शुरू हो चुकी है और ग्राम पंचायत चुनाव के शुरुआती रुझान आ चुके हैं। इसमें शिवसेना के उद्धव ठाकरे खेमे ने सोलापुर जिले की दो ग्राम पंचायतों के चुनाव में बीजेपी को बड़ा झटका दिया है।
सोलापुर की चिंचपुर ग्राम पंचायत में शिवसेना के उद्धव ठाकरे के खेमे के सभी उम्मीदवारों ने जीत हासिल की है। यहां शिवसेना के 7 में से 7 उम्मीदवारों ने जीत हासिल की है। वहीं दक्षिण सोलापुर तालुका की मंगोली ग्राम पंचायत में बीजेपी के सुभाष देशमुख को बड़ा झटका लगा है। मंगोली ग्राम पंचायत में पिछले 15 साल से सुभाष देशमुख गुट सत्ता में था। हालांकि इस साल मंगोली ग्राम पंचायत की छह में से एक सीट सुभाष देशमुख पैनल के प्रत्याशी ने जीती है।
औरंगाबाद में बागी विधायकों की धूममुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में शिवसेना के 40 विधायकों ने बगावत की और पार्टी प्रमुख उद्धव ठाकरे को झटका दिया था। इसके बाद युवा सेना प्रमुख आदित्य ठाकरे ने वफादारी यात्रा पर सीधे अपने-अपने क्षेत्रों में जाकर बागी विधायकों को चुनौती दी। आदित्य के दौरे के बाद चर्चा थी कि क्या बागी विधायकों का वर्चस्व हिलेगा। हालांकि ग्राम पंचायत चुनाव के नतीजों से साफ है कि ये बागी अपने गढ़ को सुरक्षित रखने में सफल रहे हैं।
7 में से 6 ग्राम पंचायतों पर शिंदे गुट का कब्जा
औरंगबाद के पाठक तालुका से विधायक संदीपन भुमरे के एकनाथ शिंदे के समूह ने 7 ग्राम पंचायतों में से 6 में जीत हासिल की है। दूसरी ओर यह पता चला है कि शिंदे समूह के विधायक अब्दुल सत्तार का सिल्लोड तालुका में जंजाला और नानेगांव दोनों ग्राम पंचायतों पर हावी होना जारी है।