थोक महंगाई दर अगस्त में घटकर 11 महीने के निचले स्तर 12.41 फीसदी पर
नई दिल्ली। महंगाई के मोर्चे (inflation front) पर आम आदमी को थोड़ी राहत देने वाली खबर है। थोक मूल्य सूचकांक (डब्ल्यूपीआई) पर आधारित (Based on Wholesale Price Index (WPI)) महंगाई दर (inflation rate) अगस्त महीने में घटकर 12.41 फीसदी (12.41 per cent) रही है, जबकि अगस्त 2021 में 11.64 फीसदी रही थी। इस तरह थोक महंगाई दर का ये 11 महीने का निचला स्तर है।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय की ओर से बुधवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक थोक महंगाई दर अगस्त में घटकर 12.41 फीसदी पर आ गई है, जो 11 महीने का निचला स्तर है। इससे पिछले महीने जुलाई में थोक महंगाई दर 13.93 फीसदी रही थी, जबकि जून महीने में 15.18 फीसदी रही थी। वहीं, मई महीने में यह 15.88 फीसदी और अप्रैल महीने में 15.08 फीसदी पर थी। हालांकि, थोक महंगाई दर लगातार 17वें महीने दोहरे अंक में बनी हुई है।
आंकड़ों के मुताबिक डब्ल्यूपीआई पर आधारित थोक महंगाई दर में लगातार तीसरे महीने गिरावट का रुख रहा है। अगस्त में खाद्य वस्तुओं की महंगाई बढ़कर 12.37 फीसदी पर पहुंच गई, जो जुलाई में 10.77 फीसदी थी। समीक्षाधीन महीने में सब्जियों की कीमतें अगस्त में घटकर 22.29 फीसदी पर आ गई है, जो पिछले महीने 18.25 फीसदी पर थी। ईंधन और बिजली की महंगाई दर अगस्त में 33.67 फीसदी रही, जो इससे पिछले महीने 43.75 फीसदी रही थी। इसी तरह विनिर्मित उत्पादों और तिलहन की महंगाई क्रमशः 7.51 फीसदी और -13.48 फीसदी रही।
उल्लेखनीय है कि अगस्त में पिछले साल के मुकाबले थोक महंगाई दर बढ़ने की मुख्य वजह खाने-पीने की वस्तुओं के दाम बढ़ने, खनिज तेल, क्रूड और नेचुरल गैस, मेटल, केमिकल और केमिकल उत्पाद, बिजली सहित अन्य जरूरी वस्तुओं की कीमतों का बढ़ना शामिल है। थोक महंगाई दर पिछले साल अप्रैल से लगातार 17वें महीने दहाई अंकों में बनी हुई है। थोक महंगाई दर इस साल मई में 15.88 फीसदी के रिकॉर्ड उच्चतम स्तर पर पहुंच गई थी।