फतेहपुर दुष्कर्म पीड़िता ने कानपुर के अस्पताल में दम तोड़ा
कानपुर : कानपुर मेडिकल कॉलेज में इलाज के दौरान उत्तर प्रदेश के फतेहपुर की दुष्कर्म पीड़िता की मौत हो गई है। आपातकालीन चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर विनय कुमार के बताया कि गुरुवार सुबह पीड़िता ने अंतिम सांस ली। आरोप है कि जिले के हुसैनगंज थाना क्षेत्र के एक गांव में बीते 14 दिसंबर को एक युवती को कथित रूप से दुष्कर्म करने के बाद आग लगा दी गई थी। करीब 90 फीसदी तक झुलसी युवती को गंभीर हालत में कानपुर के हैलट अस्पताल में भर्ती कराया गया था। दो दिन पहले हालत बिगड़ने की वजह वो कोमा में चली गई थी। डॉक्टरों ने बताया कि भर्ती होने के बाद से ही उसका ब्लड प्रेशर और नब्ज गिर रही थी, जिसके बाद उसे वेंटिलेटर पर रखना पड़ा था। उसपर कोई एंटीबायोटिक असर नही कर रही थी। शरीर मे सूजन से सांस की नालियां सिकुड़ चुकी थीं। फेफड़ों में संक्रमण बढ़ने से उसे बचा पाना और मुश्किल हो गया था। हुसैनगंज क्षेत्र के एक गांव में रिश्ते में चाचा-भतीजी के बीच पिछले साल से प्रेम प्रसंग चल रहा था। युवती अपने चाचा से शादी करने पर अड़ी थी, लेकिन परिजनों ने इसका विरोध किया। इस बात पर 14 दिसंबर की सुबह युवक-युवती और दोनों परिवारों की मौजूदगी में गांव में पंचायत हुई। लड़की के पिता ने बदनामी की बात कह रिश्ते को नकारते हुए पंचों से अपील की कि ‘लड़की की शादी होने तक लड़के को गांव से बाहर रहने का फरमान सुना दिया जाए। साथ ही वे कभी नहीं मिलेंगे।’
पंचायत के आदेश से दुखी युवती वहां से करीब 25 कदम दूर अपने घर गई और कुछ देर बाद वह लपटों से घिरी हुई बाहर निकली। उसे देख तुरंत पुलिस को सूचना दी गई और एंबुलेंस बुलाकर उसे जिला अस्पताल भेजा गया। जहां से उसे कानपुर के एलएलआर अस्पताल रैफर कर दिया गया। गांव के प्रधान ने पंचायत की बात स्वीकार की है। युवती के भाई ने पुलिस को दो तहरीर दी। उसने पहली तहरीर में लिखा था कि उसकी बहन से शुक्रवार रात 11 बजे दुष्कर्म किया गया, जिससे दुखी होकर उसने खुद को आग लगा ली। दूसरी तहरीर में उसने लिखा कि घर में अकेली बहन से युवक ने दुष्कर्म किया। इसके बाद उसने बहन को जला दिया। जिलाधिकारी संजीव सिंह के अनुसार, पीड़िता और आरोपी के बीच प्रेम संबंध थे। परिजनों ने उनकी शादी का विरोध किया। पंचायत के इनकार के बाद पीड़िता ने केरोसिन डाल खुद को आग लगा ली।