मोदी 2 सरकार के पहले बजट में रक्षा क्षेत्र में कोई बढोत्तरी नहीं की गई है। इसे पिछली सरकार में एक फरवरी को पेश किए गए अंतरिम बजट के आबंटन के बराबर ही रखा गया है। अंतरिम बजट में रक्षा को 3.01 लाख करोड़ रुपया दिया गया था। ऐसा पहली बार हुआ कि देश का रक्षा बजट तीन लाख करोड़ का आंकड़ा पार किया था।
जटिल दौर में रक्षा मंत्रालय का भार संभालने के बाद इस सरकार में वित्त मंत्री बनी निर्मला सीतारमण ने संसद में दिए भाषण में रक्षा बजट का अलग से कोई जिक्र नहीं किया। हालांकि सीतारमण ने रक्षा को सरकार की योजना का अहम हिस्सा बताते हुए एलान किया कि रक्षा उपकरणों के आयात को बेसिक कस्टम ड्यूटी से मुक्त कर दिया गया है। इससे रक्षा क्षेत्र के घरेलू उत्पादकों को मदद मिलेगी।
2018 के बजट में रक्षा को 2.85 लाख करोड़ रुपया दिया गया था। यानि पिछले बजट के मुकाबले इस बजट में रक्षा को सिर्फ लगभग 7 फीसदी ज्यादा मिला था। रुपए के अवमूल्यण के मद्देनजर इस बढोत्तरी को नगण्य माना जा रहा है।