योगी की जनसंख्या नीति पर ईसाइयों ने जताई आपत्ति
लखनऊ। यूपी में योगी आदित्यनाथ की जनसंख्या नीति पर बहस को आगे बढ़ाते हुए लखनऊ में ईसाई समुदाय ने इस प्रस्ताव पर आपत्ति जताई है। लखनऊ के सूबा के बिशप, फादर गेराल्ड जे मथियास ने कहा कि ईसाई समुदाय को प्रस्तावित जनसंख्या नीति के बारे में कड़ा विरोध था।
उन्होंने कहा, विशेषज्ञों ने साबित कर दिया है कि तथाकथित जनसंख्या विस्फोट एक मिथक है और यह सच नहीं है कि हमारे पास जनसंख्या को बनाए रखने के लिए पर्याप्त आर्थिक संसाधन नहीं हैं। विवाह और परिवार नियोजन पर सरकार के बयानों पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि ये पवित्र संस्थाएं हैं, जिनका सम्मान और संरक्षण किया जाना चाहिए।
उन्होंने कहा, परिवार नियोजन, दूरी और बच्चों की संख्या के बारे में निर्णय एक विवाहित जोड़े के व्यक्तिगत विशेषाधिकार और अधिकार हैं। बच्चों की संख्या में कमी लाने के लिए कोई भी बल या जबरदस्ती लोगों पंथ के खिलाफ है। देने का कोई भी प्रयास प्रोत्साहन, विशेष रूप से प्रोत्साहन, जैसे कि गैर-सरकारी नौकरी, कोई पदोन्नति नहीं, कोई सब्सिडी नहीं, राशन कार्ड इकाइयों में कमी, चुनाव लड़ने पर रोक, व्यक्ति के साथ जबरदस्ती और डराने-धमकाने के समान है।
फादर माथियास ने चीन के दुखद और दुखी अनुभव का जिक्र किया जिसने शुरू में अपनी आबादी पर अंकुश लगाने की कोशिश की और अब और अधिक बच्चों को प्रोत्साहित कर रहा है।