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दस्तक टाइम्स एजेंसी/नई दिल्ली : जेएनयू विवाद को लेकर आवाज उठाते हुए बौद्धिक लोगों के एक समूह ने कहा है कि विश्वविद्यालय कैंपस में कथित तौर पर राष्ट्रविरोधी नारे लगाने वाले पाकिस्तान स्थित आतंकी गुट जेईएम प्रमुख मौलाना मसूद अजहर से ‘जरा भी कम खतरनाक’ नहीं हैं।
अपील में लिखा गया है, ‘हमारा मानना है कि राष्ट्रविरोधी ताकतों की यह सोची समझी साजिश है और हमारा मानना है कि इस तरह के जो नारे लगाते हैं वे आतंकवादी मौलाना मसूद अजहर की सोच की तुलना में जरा भी कम खतरनाक नहीं हैं।’ जेएनयू की घटना को छिपा हुआ खतरा बताते हुए इसमें कहा गया, ‘हम सरकार के खिलाफ वैचारिक असहमति का स्वागत करते हैं लेकिन सभी देशभक्तों के लिए इस तरह की नारेबाजी अस्वीकार्य है।’ अपील में कहा गया है कि ‘अभिव्यक्ति की आजादी’ के नाम पर इस तरह की घटना को छिपाने की कोशिश हो रही है।