वीडियो VIRAL: PM मोदी ने खुद कहा, ‘मैं सिर्फ 10 वीं पास’
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की डिग्री को लेकर विपक्षी दलों विशेषकर आम आदमी पार्टी ने खूब हल्ला मचा रखा है। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने पीएम मोदी की डिग्री पर सवाल उठाए क्या उठाए देश भर में एक नई बहस छिड़ गई।
ज़ाहिर है देश के प्रधानमंत्री की शैक्षणिक योग्यता पर उठ रहे ये सवाल और आरोप सियासी हैं। आम आदमी पार्टी जहां पीएम की डिग्री फ़र्ज़ी साबित करने के लिए फ्रंट फुट पर खेलने की कोशिश कर रही है, वहीं पीएम के सिपहसालार और बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं ने मोदी के बचाव में बागडोर संभाली हुई है।
आरोप-प्रत्यारोपों के बीच एक ऐसा पुराना वीडियो सामने आया है जिसमे मोदी खुद अपनी शैक्षणिक योग्यता के बारे में खुलासा करते दिखाई दे रहे हैं। यह वीडियो एक टीवी साक्षात्कार के दौरान का है जिसे मौजूदा कांग्रेस सांसद राजीव शुक्ला ने बतौर टीवी एंकर रहते हुए मोदी से लिया था।
यहां देखें वीडियो
इस वीडियो में मोदी साफ़ कहते दिखाई दे रहे हैं कि वे हाईस्कूल तक पढ़ें हुए हैं। मोदी के खुद अपनी शैक्षणिक योग्यता का खुलासा करने वाला ये वीडियो इन दिनों जमकर वायरल हो रहा है।
क्या कहते सियासत के जानकार
बहरहाल, राजनीतिक विश्लेषक पीएम मोदी की डिग्री पर मचे घमासान को आप पार्टी का सस्ती लोकप्रियता पाने के लिए किया गया राजनीतिक स्टंट करार दे रहे हैं। जानकारों के मुताबिक़ भारत के संविधान के अनुसार देश के प्रधानमंत्री ने पीएचडी की है या आठवीं पास हैं, इससे बहुत फर्क नहीं पड़ता है। इतिहास में इस बात का जिक्र नहीं है कि जो पढ़े लिखे हैं, वो देश के लिए अच्छा ही करेंगे। ऐसा भी नहीं है जो अनपढ़ हैं या कम पढ़े लिखे हैं, वो मानवीय मूल्यों, संवैधानिक मर्यादाओं को और जनहित को नहीं जानते।
राजनीतिक विश्लेषकों के अनुसार प्रधानमंत्री को हर मुद्दे पर बोलने वाले व्यक्ति के रूप में जाना जाता है। पर मोदी अपने मामले पर भी कुछ भी नहीं बोले हैं। जिन लोगों ने मोदी को वोट किया उनमें यह किसी ने नहीं सोचा था कि मोदी कितने पढ़े-लिखे हैं और इसलिए उन्हें वोट करना है। जिन लोगों ने मोदी के प्रति अपना विश्वास नहीं जताया, वे यह नहीं सोच रहे थे कि मोदी ने यह नहीं पढ़ा, वह नहीं पढ़ा और इसलिए हम उन्हें वोट नहीं करेंगे।
डिग्री फर्जी निकली तो क्या होगा असर
जानकारों की मानें तो उनकी डिग्री अगर फर्जी निकली तो गलत शपथपत्र की स्थिति में जेल जाने का और संसद सदस्यता रद्द होने का खतरा हो सकता है?