![इजरायल के PM बेंजामिन नेतन्याहू आज आ रहे हैं भारत, प्रोटोकॉल तोड़कर मोदी करेंगे रिसीव](https://dastaktimes.org/wp-content/uploads/2018/01/इजरायल-के-PM-बेंजामिन-नेतन्याहू-आज-आ-रहे-हैं-भारत.jpg)
नई दिल्ली: इस्राइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू आज छह दिवसीय यात्रा पर भारत आ रहे हैं और उनकी इस यात्रा के दौरान दोनों देश रक्षा, कृषि, जल संरक्षण, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी, आंतरिक सुरक्षा समेत द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर व्यापक चर्चा करेंगे. उनकी यात्रा ऐसे समय में हो रही है जब भारत और इस्राइल अपने राजनयिक संबंधों की 25वीं वर्षगांठ मना रहे हैं. भारत यात्रा के दौरान बेंजामिन नेतन्याहू दिल्ली, आगरा, अहमदाबाद और मुम्बई जायेंगे. उनके साथ एक कारोबारी शिष्टमंडल भी भारत आ रहे हैं.
Israel PM #BenjaminNetanyahu to arrive in India today on a six day visit pic.twitter.com/RikNLBeZ6t
— ANI (@ANI) January 14, 2018
अधिकारी ने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी और नेतन्याहू के बीच 15 जनवरी को द्विपक्षीय वार्ता होगी. इसके बाद इस्राइली प्रधानमंत्री राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से भेंट करेंगे. नेतन्याहू की विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से मुलाकात का भी कार्यक्रम है. 16 जनवरी को प्रधानमंत्री नेतन्याहू रायसिना डायलॉग में भाग लेंगे. 17 जनवरी को उनका गुजरात में कृषि क्षेत्र में राष्ट्रीय उत्कृष्टता केंद्र जाने का कार्यक्रम है.
18 जनवरी को इस्राइली प्रधानमंत्री मुम्बई जायेंगे जहां उनका कारोबार संबंधी बातचीत का कार्यक्रम है. 15 जनवरी को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और इस्राइली प्रधानमंत्री दूसरे भारत इस्राइल सीईओ फोरम की बैठक में हिस्सा लेंगे. बाला भास्कर ने बताया कि पिछले तीन वर्षो में दोनों देशों के बीच काफी उच्च स्तरीय आदान प्रदान हुए हैं. सबसे पहले तत्कालीन राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी इस्राइल गए थे और इसके बाद इस्राइली राष्ट्रपति रेवलीन भारत आए थे.
उन्होंने बताया कि जनवरी 1992 में दोनों देशों के बीच राजनयिक संबंध स्थापित होने के बाद संबंध काफी मजबूत हुए हैं. दोनों देशों के बीच कृषि, जल, अंतरिक्ष, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी, रक्षा, आंतरिक सुरक्षा जैसे क्षेत्रों में सहयोग काफी घनिष्ठ हुए हैं. हमने अपने संबंधों को सामरिक स्तर का किया है. उन्होंने बताया कि इस्राइल के सहयोग से भारत के 11 राज्यों में कृषि संबंधी 28 उत्कृष्ठता केंद्र स्थापित हुए हैं. दोनों देशों के बीच संबंधों में जल और कृषि एक महत्वपूर्ण आयाम बनकर उभरा है.