नव हिमाचल के निर्माता हैं वीरभद्र सिंह : हरीश रावत
शिमला : हिमाचल प्रदेश कई क्षेत्रों में मध्य हिमालय राज्यों के लिए रोल माडल बन कर उभरा है। प्रदेश की शांति, स्थिरता और विकास मार्गदर्शन लेने योग्य है। रोजगार और बागवानी के क्षेत्रों में प्रदेश से उतराखण्ड ने सीख ली है। हिमाचल में चल रही खेत सुरक्षा योजना को मेरे समय में उतराखण्ड में भी लागू किया गया। यह कहना अतिशयोक्ति नहीं होगी कि जैसे यशवंत सिंह परमार को हिमाचल का निर्माता कहा जाता है वैसे ही प्रदेश के मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह को आधुनिक हिमाचल का निर्माता कहा जा सकता है। यह बात कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और उतराखण्ड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने शिमला में एक पत्रकारवार्ता में कही।
वीरभद्र सिंह के वर्तमान कार्यकाल में 70000 से अधिक लोगों को रोजगार दिया जा चुका है। वह ही हिमालय क्षेत्रों की आवाज बुलंद करने में सक्षम हैं। वीरभद्र सिंह ही प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से स्पैशल कैटेगीरी स्टेटस छीने जाने के बाद इस निर्णय के लिए लड़े थे। रावत ने कहा कि दिल्ली वाले बाबा भी वीरभद्र की आलोचना करने के लिए शब्द ढूंढते हैं। उनके पास वीरभद्र के खिलाफ बोलने के लिए कुछ भी नहीं है। उन्होंने कहा कि सभी हिमालय राज्यों को वीरभद्र सिंह का नेतृत्व चाहिए। हरीश रावत ने कहा कि देश में एक अघोषित आपातकाल की स्थिति है। अगर आप केन्द्र सरकार से सहमत नहीं हैं तो आपको चुप करवा दिया जाएगा।
मीडिया इसका पहला निशाना है। वहीं अगर आप किसी भी मुददे पर अलग विचार रखते हैं चाहे वह मंहगाई हो या कुछ और, तो कहा जाएगा कि आप देश के लिए बात नहीं कर रहे। वहीं अगर आप मंहगाई झेल लो तो आप देशभक्त हैं। उन्होंने कहा कि राजस्थान की भाजपा द्वारा लाया जा रहा बिल उनकी मानसिकता दर्शाता है, जो चिंतनीय है। वहीं पूर्व मुख्यमंत्री ने नोटबंदी और जीएसटी को लेकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर हमला बोला और कहा कि इससे देश की अर्थव्यवस्था को धक्का लगा है। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी ने जीएसटी को गब्बर सिंह टैक्स का नाम दिया है जो कि बिल्कुल सही है। हरीश रावत ने कहा कि पूरा देश हिमाचल प्रदेश की ओर देख रहा है कि यहां की जनता सत्ता के अंहकार में डूबे लोगों को सबक सिखाएगी।