नई दिल्ली: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा है कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर जबरदस्त हमला करते हुए कहा की, पूर्व उपमुख्यमंत्री और आरजेडी नेता तेजस्वी यादव के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों पर राहुल ने कोई स्टैंड नहीं लिया था। इस बारे में रूख साफ नहीं करने की वजह से उन्होंने महागठबंधन से अलग होने का कदम उठाया। नीतीश कुमार ने दावा किया कि उनकी पार्टी ने 2015 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को 40 सीटें दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘राहुल ने उन्हें निराश किया जब उन्होंने इस बारे में कोई बयान तक नहीं दिया, जिससे कि मैं गठबंधन छोड़ने के बारे में दोबारा विचार करता।’ उन्होंने ने कहा कि, ‘हमेशा से मेरा रुख रहा है कि अपराध, भ्रष्टाचार और सांप्रदायिकता से कोई समझौता नहीं होगा। उनकी कार्यशैली इस तरह की थी कि मेरे लिए काम करना मुश्किल होता जा रहा था. सभी स्तरों पर हस्तक्षेप था,उनके लोग अपने फरमानों के साथ थाने में टेलीफोन करते थे।’बता दें की जुलाई 2017 में तेजस्वी यादव के खिलाफ भ्रष्टाचार के मामले में सीबीआई ने केस दर्ज किया था. जिसके बाद जेडीयू और आरजेडी के रिश्तों में तल्खी आ गई थी।
तनाव बढ़ने के बाद नीतीश कुमार ने आरजेडी और कांग्रेस के साथ मिलकर बनाए गठबंधन से खुद को अलग कर लिया। नीतीश कुमार ने कहा कि राहुल गांधी के आर्डिनेंस की कॉपी फाड़ने की बड़ी चर्चा हुई थी. वो जेडीयू थी जिसने कांग्रेस को बिहार में 40 सीटों पर लड़ने का मौका दिया और कांग्रेस ने 28 सीटों पर जीत हासिल की. आरजेडी पुरानी सहयोगी होने के बावजूद 40 सीटें देने को राजी नहीं थी। नीतीश कुमार ने कहा कि उनके सामने इस्तीफे के अलावा कोई और उपाय नहीं था. उन्होंने कहा कि इस्तीफे के तुरंत बाद बीजेपी ने समर्थन देने का ऑफर दिया और उन्होंने बिहार के हित में इस ऑफर को स्वीकार कर लिया। बीजेपी के साथ अपने संबंधों पर नीतीश कुमार ने कहा, नब्बे के दशक से अयोध्या, आर्टिकल 370 और यूनिफॉर्म सिविल कोड के मसले पर हमारे बीच मतभेद रहे हैं। लेकिन हमने बीच का रास्ता निकाल लिया है,यहां तक की अभी हमें नरेंद्र मोदी सरकार से पूरा समर्थन और सहयोग मिल रहा है।’आरएसएस के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि मैं उनके विचार से सहमत नहीं हूं लेकिन मैं उनके संगठन के लिए काम करने के तरीके उनकी प्रतिबद्धता की प्रशंसा करता हूं।
हमारी समाजवादी विचारधारा को अपनाने वाले लोगों ने भी कभी इतना उत्कृष्ट प्रदर्शन नहीं किया। 2019 के लोकसभा चुनाव के बारे में नीतीश कुमार ने कहा कि अब हमारे पास रामविलास पासवान जैसे अच्छे नेता भी हैं। इसलिए कोई संदेह नहीं कि हम चुनावों में अच्छा प्रदर्शन करेंगे। महागठबंधन के बारे में बात करते हुए वो बोले कि महागठबंधन का नाम उनका दिया है जब जेडीयू इसमें शामिल थी। जेडीयू के अलग होने के बाद ये सिर्फ गठबंधन रह गया है। मोदी सरकार के 10 फीसदी कोटा, जिसका जेडीयू ने भी समर्थन किया लेकिन आरजेडी ने उसका विरोध किया है, पर बात करते हुए नीतीश कुमार बोले कि अनारक्षित वर्ग के गरीब लोगों के विकास से ही सामाजिक बदलाव लाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि अगर उनकी (सामान्य वर्ग) मदद बिना एससी-एसटी और पिछड़े वर्ग के अधिकारों के साथ छेड़छाड़ किए हो रही है तो इसमें किसी को शिकायत नहीं होनी चाहिए।