मुस्लिमों ने कहा, कुंभ स्नान भी हज जाने के जैसा
उज्जैन। धार्मिक नगरी उज्जैन में चल रहे सिंहस्थ कुंभ में सांप्रदायिक सद्भाव भी दिख रहा है। सिर्फ हिंदू ही नहीं मुस्लिम समाज के लोग भी कुंभ में स्नान कर पुण्य कमा रहे हैं। सिंहस्थ में स्नान करने वाले कुछ मुस्लिमों ने कहा कि कुंभ स्नान ही उनका हज है।
इंदौर के आसिफ खान ने कुंभ में अपने परिवार के साथ स्नान का पुण्य लिया। उन्होंने क्षिप्रा नदी में पूरे परिवार के नाम की डुबकी लगाई। उनके साथ उनके भतीजे इमरान खान ने भी क्षिप्रा नदी में स्नान किया। इसके अलावा सागर से आए अमजद खान ने इस मौके पर स्नान कर खुद को धन्य महसूस किया।
आसिफ मानते हैं कि धर्म और आस्था इंसानों को जोड़ने के लिए है, तोड़ने के लिए। कोई भी धर्म इंसानियत से बड़ा नहीं होता। अपने धर्म पर यकीन के साथ ही मैं हर धर्म की अच्छी बातों को सीखने के लिए तत्पर रहता हूं।
हर वह बात जो आपको आध्यात्िमक रूप से प्रेरित करे, सकारात्मक भावों को जगाती हो, जिससे मन को सुकून मिले, उसे करने में क्या हर्ज है। फिर इस बात से क्या फर्क पड़ता है कि वह हमारे धर्म की है या किसी दूसरे धर्म की।
मुस्लिम युवक बचा रहे हैं जानें
हिंदू-मुस्लिम एकता की मिसाल कुंभ में हर तरफ देखने को मिल रही है। एक तरफ जहां हिंदू क्षिप्रा नदी के जल में डुबकी लगाकर पुण्य लाभ अर्जित कर रहे हैं, तो दूसरी ओर मुस्लिम समाज के नौजवान पानी में डूबने वालों को बचाने में जुटे हैं।
उज्जैन में क्षिप्रा नदी के घाटों पर विभिन्न तैराकों के दलों की तैनाती की गई है, ताकि स्नान के दौरान कोई हादसा न हो। रामघाट में एक दल मौलाना मौज तैराक संघ का भी तैनात है। इस दल में ज्यादातर युवा मुस्लिम समुदाय से हैं।
मौलाना मौज तैराक दल संघ के अध्यक्ष अखलाक खान ने बताया कि उनके दल के सदस्य अब तक 40-45 श्रद्धालुओं को डूबने से बचा चुके हैं। पहले शाही स्नान के दिन 22 अप्रैल को इस दल ने छह लोगों को डूबने से बचाया था।
मस्जिदों ने खोले तीर्थ यात्रियों के लिए दरवाजे
दोनों धर्मों के बीच धार्मिक सौहार्द की ऐसी ही एक और बानगी 9 मई को देखने को मिली थी, जब सिहस्थ कुंभ के दूसरे शाही स्नान के दौरान जोरदार आंधी-बारिश शुरू हो गई। यात्रियों को सिर छिपाने की जगह नहीं मिल रही थी। उस वक्त कई स्थानीय मस्जिदों ने हिंदू तीर्थयात्रियों के लिए अपनी मस्जिदों के दरवाजे खोल दिए।
आल इंडिया मुस्लिम तेहवार समिति के प्रमुख डॉ. औसफ शाहमीरी खुर्रम ने मुस्लिम समुदाय के सदस्यों से हिंदू श्रद्धालुओं की हर संभव मदद करने, हर सुविधा मुहैया कराने को कहा। उज्जैन की मशहूर तोप खाना हरी मस्जिद ने यात्रियों के खाने-पीने और रहने का बंदोबस्त किया।