विरोध करने वाले न्यायमूर्ति गोगोई को मुख्य न्यायाधीश बनाना चाहते हैं जस्टिस मिश्रा
नई दिल्ली : सर्वोच्च न्यायालय के मौजूदा दूसरे वरिष्ठतम न्यायाधीश रंजन गोगाई देश के नए मुख्य न्यायाधीश होंगे। मौजूदा मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा ने पुरानी परंपरा को कायम रखते हुए वरीयता क्रम में अपने बाद के सबसे वरिष्ठ न्यायाधीश के नाम की सिफारिश नए मुख्य न्यायाधीश पद के लिए की है। विधि एवं न्याय मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार, न्यायमूर्ति मिश्रा ने सभी आशंकाओं को दरकिनार करते हुए न्यायमूर्ति गोगोई का नाम अपने उत्तराधिकारी के रूप में मंत्रालय को भेजा है। दो मौकों को छोड़कर वरीयता क्रम में शीर्ष न्यायाधीश को मुख्य न्यायाधीश बनाने की परंपरा रही है।
इसके लिए कम से कम 30 दिन पहले निवर्तमान मुख्य न्यायाधीश द्वारा सिफारिश की जाती है। न्यायमूर्ति मिश्रा का कार्यकाल 2 अक्टूबर को समाप्त हो रहा है, ऐसी स्थिति में उन्होंने नए मुख्य न्यायाधीश के नाम की सिफारिश समय से कर दी है। अब उनके नाम पर राष्ट्रपति की मोहर लगनी है। न्यायमूर्ति गोगोई तीन अक्टूबर को शपथ ले सकते हैं। वह 17 नवंबर 2019 तक मुख्य न्यायाधीश के पद पर रहेंगे। अगले सीजेआई के रूप में न्यायमूर्ति गोगोई की नियुक्ति के बारे में तब अटकलें लगने लगी थीं जब न्यायमूर्ति गोगोई सहित सुप्रीम कोर्ट के चार वरिष्ठतम न्यायाधीशों ने इस साल जनवरी में अभूतपूर्व ढंग से संवाददाता सम्मेलन बुलाकर विभिन्न मुद्दों, खासकर खास पीठों को मामलों के आवंटन के मुद्दे पर न्यायमूर्ति मिश्रा की आलोचना की थी। न्यायमूर्ति जे. चेलमेश्वर (अब सेवानिवृत्त), न्यायमूर्ति मदन बी.लोकुर और न्यायमूर्ति कुरियन जोसेफ संवाददाता सम्मेलन करने वालों में शामिल थे।