अद्धयात्म

वेटिकन की बनावट है शिव लिंग जैसी

669064411-640x480दस्तक टाइम्स एजेंसी/हिन्दू सभ्यता में मंदिरों का बड़ा ही महत्व है, इन मंदिरों में लोग अपने-अपने देवताओं की उपासना करते हैं। पर ऐसा नहीं है कि ये मंदिर केवल भारत, नेपाल आदि तक ही फैले हैं, बल्कि देश के बाहर भी इन मंदिरों का इतिहास फैला हुआ है. किसी समय हिन्दू सभ्यता ने अपनी जड़ें यूरोप से लेकर एशिया तक फ़ैला रखी थी, जिसके प्रमाण आज भी मिलते हैं।हिन्दू सभ्यता कहां तक फैली थी विश्व की ऐसी ही एक जगह के बारे में ही हम आज आपको बताने जा रहे हैं

 

हिन्दू सभ्यता का कालजयी इतिहास

वेटिकेन में कभी शिव मंदिर हुआ करता था?

सभी धर्म एक ही धर्म का हिस्सा हैं, जिसका प्रमुख वैदिक धर्म है। इतिहासकार पी.एन.ओक इसे समझाते हुए कहते है कि वेटिकेन शब्द संस्कृत के वाटिका से लिया गया है, और “Christianity” शब्द कृष्ण नीति से बना है और आगे वो कहते हैं कि अब्राहिम भी ब्रह्मा का ही एक विकसित रूप है। उदाहरण के लिए खुद ही इस फोटो को गौर से देखिये जिसमे आपको चर्च का एरिया एक शिव लिंग की तरह नज़र आएगा।

 

क्या वेटिकेन सच में शिव मंदिर था

इन फोटो को देखने पर एक tripod सा नज़र आता है जो की शिव के माथे के तिलक की तीन रेखाओं के जैसा लगता है। वेटिकेन खुद वाटिका से आया है इसका मतलब यह है कि यहां भी कभी वैदिक केंद्र हुआ करते थे। खुदाई के दौरान यहां से एक शिव लिंग भी प्राप्त हुआ है जिसे रोम के संग्रहालय में रखा गया है।

इसके अलावा एक औऱ शिवलिंग भी यहां मिला है जिसे शिव लिंग रोम के ही एक और संग्रहालय Gregorian Etruscan Museum में रखा गया है।  यह चीजें बताती हैं कि हिन्दू संस्कृति हमेशा से सहन शीलता , त्याग और सद्भाव पर आधारित रही है और यही इसके निरन्तर पनपने और विकसित होते जाने का राज है।

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