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हॉस्पिटल से डॉक्टरों ने निकाला, एंबुलेंस में गूंजी किलकारी

गैरसैंण। यहां के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में डॉक्टरों की लापरवाही का मामला सामने आया है। गैरसैंण में लेबर पेन के दर्द में छटपटाती महिला की हालत गंभीर बताकर उसे हायर सेंटर रेफर कर दिया गया। वहीं, जब महिला को दूसरे अस्पताल में भर्ती करने के लिए ले जाया जा रहा था तभी महिला ने एंबुलेस में नवजात को जन्म दे दिया। यह मामला बीती शाम का है। चमोली जनपद के विकासखंड गैरसैंण के कूनीगाड निवासी देवेंद्र सिंह की गर्भवती पत्नी मुन्नी देवी को परिजन सीएचसी गैरसैंण लाये।

डॉक्टरों की लापरवाही की जांच का आदेश

आरोप है कि डॉक्टरों ने रस्म अदायगी के तौर पर उसकी जांच की और मामले को गंभीर बताते हुए हायर सेंटर रेफर कर दिया। इस पर महिला के परिजनों ने अस्पताल से 108 सेवा की मांग की, लेकिन उन्हें न तो एंबुलेंस नहीं, न खुशियों की सवारी ही। ऐसे में परिजनों ने तुरंत निजी वाहन की व्यवस्था कर रानीखेत की राह पकड़ी, लेकिन अस्पताल से निकलने के आधे घंटे बाद ही गैरसैंण से 12 किमी दूर मेहलचौरी के पास गर्भवती ने सामान्य रूप से नवजात को जन्म दिया। इस पर परिजन जच्चा-बच्चा को लेकर दोबारा सीएचसी गैरसैंण पहुंचे, जहां चिकित्सकों ने जच्चा-बच्चा को स्वस्थ बताया।

यह सुन परिजन व साथ में आये ग्रामीण चिकित्सक कर्मियों से उलझ गये। उनका आरोप था कि उपचार देने के बजाय रोगियों को रेफर करना अस्पताल कर्मियों की आदत बन गयी है। बाद में चिकित्सकों के समझाने-बुझाने जैसे-तैसे मामला शांत हुआ। सीएचसी गैरसैंण के चिकित्सा अधीक्षक डा. एमबी पंत का कहना है कि हर चिकित्सक के जांच करने व निर्णय का तरीका अलग होता है। जांच करने वाले चिकित्सक के अनुसार गर्भ में बच्चा उल्टा था। ऐसे में केंद्र में प्रसव करना संभव नही था, लिहाजा महिला को रेफर करना पड़ा।

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