टॉप न्यूज़फीचर्डराष्ट्रीय

हो गई शिनाख्त – जेएनयू में किसने लगाये थे ‘भारत’ विरोधी नारे

एजेन्सी/ jnu-3-22-14586393659 फरवरी….जी हां, इस तारीख से कुछ याद आया क्या आपको? दरअसल ये वही तारीख है, जब जेऐनयू कैम्पस में अफजल के समर्थन की खातिर आवाजें बुलंद हुईं। देश के टुकड़े करने के नारे लगे। आवांज़ें सबको सुनाई दीं, लेकिन शक्ल किसी ने नहीं देखी। कौन थे वो लोग? जी हां यह सवाल आपके ज़हन में भी घूम रहा होगा। खैर अब इसका जवाब मिल गया है। जांच की रिपोर्ट तैयार हो गई है।

कश्मीरी छात्र और पेशेवर लोग थे शामिल जांचकर्ताओं ने भारत विरोधी नारे लगाने वाले की पहचान केंद्रीय विश्वविद्यालयों के कुछ कश्मीरी छात्रों के रूप में एवं बाहरी पेशेवर लोगों के तौर पर की है। उच्च स्तरीय जांच कमेटी द्वारा तैयार की गई जेएनयू की आंतरिक रिपोर्ट में इन बाहरी लोगों की भूमिकाओं का उल्लेख किया गया था। View Photos वहीं पुलिस ने सभी तीन पुरूषों एवं एक महिला की पहचान कर ली है। इन सभी पर कश्मीरी होने का संदेह है। जिन्होंने विश्वविद्यालय परिसर में भीड़ जुटाने से लेकर भारत विरोधी नारे लगाने तक अहम भूमिका अदा की है।

डेली मेल की रिपोर्ट के मुताबिक जेएनयू मामले में जांच दल में शामिल एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी के अनुसार भीड़ का नेतृत्व कर रहे दो भाई जिनके भीड़ का नेतृत्व करते हुए विभिन्न वीडियो हैं, पुलिस उनकी छानबीन कर रही है।

प्राप्त जानकारी के मद्देनजर उनमें से एक जेएनयू का ही छात्र है तो दूसरा अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से है। वहीं अन्य की पहचान जामिया मिल्लिया इस्लामिया और अलीगढ़ मुस्लिम यूनवर्सिटी के छात्रों के तौर पर हुई है। इन छात्रों के इतर कुछ पेशेवर लोगों की भी पहचान की गई है जो आयोजन के वक्त वहां पर उपस्थित थे। राजद्रोह के आरोप में इनकी हुई थी गिरफ्तारी जेएनयू मामले में पुलिस ने राजद्रोह के आरोप में छात्र संघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार, उमर खालिद और अनिर्बान भट्टाचार्या को गिरफ्तार किया था। लेकिन फिलवक्त तीनों जमानत पर बाहर हैं। एक ”पत्रकार” की भी हुई ”शिनाख्त” मीडिया रिपोर्ट में प्रकाशित खबर के मुताबिक पता चला है कि उनमें से एक की पहचान जर्नलिस्ट के तौर पर हुई है। जो कि गैर सरकारी संस्थान द्वारा चलाये जा रहे पर्यावरण विषय पर प्रकाशन में काम करता है। वह एएमयू से स्नातक है और उस दिन भारत विरोधी नारों, भीड़ का वो भी हिस्सा था। दरअसल पूरे मामले में अभी नामों का खुलासा नहीं किया गया है। पुलिस की कार्यवाही पूरी होने के बाद, आरोप सिद्ध होने के बाद ही नामों से पर्दा उठाना उचित होगा।

Related Articles

Back to top button