लालू और शरद मुलायम को मनाने पहुंचे दिल्ली , मुलायम ने साधा मौन
नई दिल्ली: बिहार में बने भाजपा-विरोधी गठबंधन से समाजवादी के यकायक बाहर निकलने से झटका लगने के बाद राष्ट्रीय जनता दल प्रमुख लालू प्रसाद और जदयू प्रमुख शरद यादव ने आज मुलायम सिंह यादव से यहां मिलकर स्थिति को संभालने की कोशिश की, लेकिन गठबंधन को सपा मुखिया की आेर से कोई आश्वासन नहीं मिला। सपा के राष्ट्रीय महासचिव राम गोपाल यादव द्वारा कल लखनऊ में उनकी पार्टी (सपा) के गठबंधन से अलग होने की घोषणा किए जाने के बाद राजद और जदयू ‘महागठबंधन’ को बचाने के जुगत में जुट गए हैं।यादव ने कहा था कि राज्य में सीटों के बंटवारे को लेकर प्रदेश के बड़े दलों ने सपा से सलाह नहीं किया, जिससे पार्टी ‘‘अपमानित’’ महसूस कर रही है। गठबंधन को बचाने की कोशिश में पटना से दिल्ली आए लालू प्रसाद ने, मुलायम के साथ दो घंटे चली बैठक के बाद कहा, ‘‘बातचीत चल रही है। बातचीत जारी रहेगी। सभी 200 सीटें (राजद और जदयू दोनों की 100-100) नेताजी और समाजवादी पार्टी की हैं। जब साथ आए तो देश में संदेश गया कि हम भाजपा को हरा देंगे।’’ उन्होंने कहा, ‘‘वे (मुलायम) हमारे अभिभावक हैं। उनपर सबसे ज्यादा जिम्मेदारी है (कि गठबंधन बना रहे)। साम्प्रदायिकता देश के लिए खतरा है।सभी इसे समाप्त करना चाहते हैं। हमने नेताजी से इसपर पुन:विचार करने को कहा है, बिहार में ताकि एक समाजवादी और धर्मनिरपेक्ष सरकार बन सके।’’ लालू और मुलायम सिंह के बीच हुई इस बैठक में शरद यादव भी मौजूद थे। मुलायम के समधी लालू ने सपा प्रमुख के साथ अपने व्यक्तिगत संबंधों का भी हवाला देते हुए कहा कि उनके पास सारे अधिकार हैं। गौरतलब है कि लालू की बेटी का विवाह मुलायम के भाई के पोते के साथ हुआ है।