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कन्हैया के टेप को लेकर नप सकते हैं 3 न्यूज चैनल

kanhaiya-kumar-9-56c457d5a2022_exlstदस्तक टाइम्स एजेंसी/ जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) छात्र संघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार के कथित छेड़ छाड़ (डॉक्टर्ड) किए गए टेप के प्रसारण के बाद चुनिंदा समाचार चैनलों की विश्वसनीयता पर गंभीर सवाल खड़े हो रहे हैं। अति प्रसिद्ध दो अंग्रेजी और एक हिंदी समाचार चैनल पर प्रसारित टेप में कन्हैया को कश्मीर अलगाववाद के समर्थन में नारे लगाते दिखाया गया है।
जबकि सही माने जा रहे टेप में भारत विरोधी बातें नहीं बल्कि गरीबी और महिला अधिकार संबंधी बातें कही गई हैं। कन्हैया के इसी डॉक्टर्ड टेप के प्रसारण के बाद पूरे देश में उसके खिलाफ माहौल बन गया है। सरकार ने इस मामले पर फिलहाल चुप्पी साध रखी है।
लेकिन एजेंसियां अंदरूनी तौर पर इस बात की जांच कर रही है कि टेप में छेड़-छाड़ किसी बड़ी साजिश के तहत तो नहीं की गई। सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय इस मामले में चैनलों से जवाब मांग सकता है। उधर जांच इस बात की भी चल रही है कि पुलिस ने जल्दीबाजी में ऐसा कदम क्यूं उठाया। 

गौरतलब है कि कन्हैया की देशद्रोह के तहत गिरफ्तारी के बाद खुफिया एजेंसी आईबी ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि पुलिस ने कार्रवाई में जल्दीबाजी की है। उच्चपदस्थ सूत्रों के मुताबिक गृह मंत्रालय में हुई गंभीर मंत्रणा के बाद दिल्ली पुलिस कमिश्नर बी एस बस्सी ने ऐलान किया कि पुलिस कन्हैया की जमानत अर्जी का विरोध नहीं करेगी।

गृह मंत्रालय सूत्रों के मुताबिक पुलिस और एजेंसी जेएनयू प्रकरण की जांच असली टेप के आधार पर ही करेंगे। सरकार टेप में हुई कथित छेड़छाड़ के लिए चैनलों को जिम्मेदार ठहरा रही है। सरकार का मानना है कि डॉक्टर्ड टेप के चलते जांच पर कोई असर नहीं पड़ेगा।

सूत्रों के मुताबिक हालांकि इस बात की जांच जरूरी है कि उस टेप के पीछे की असल कहानी सामने आए। क्योंकि उसी टेप से चलते कन्हैया के खिलाफ देशद्रोही होने के आरोप लग रहे हैं।

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