भारत-ब्रिटेन मुक्त व्यापार समझौते के लिए भारत और ब्रिटेन की पांचवीं दौर की वार्ता संपन्न
नई दिल्ली: भारत और ब्रिटेन ने मुक्त व्यापार समझौझा (एफटीए) के लिए 5वें दौर की बातचीत को संपन्न कर लिया है। वार्ता में शामिल अधिकारियों ने तकनीकी बातचीत मिले-जुले मोड में की है। कुछ दलों की बैठक नई दिल्ली में हुई और अधिकतर अधिकारी बैठक में वर्चुअल रूप में शामिल हुए।
वार्ता के इस दौर के लिए दोनों पक्षों के तकनीकी विशेषज्ञ 15 नीतिगत क्षेत्रों को कवर करते हुए 85 अलग-अलग सत्रों में विस्तृत प्रारूप संधि पाठ चर्चा के लिए एक साथ आए। भारत और ब्रिटेन के अधिकारी अक्टूबर 2022 के अंत तक एक व्यापक और मुक्त व्यापार समझौते पर अधिकांश वार्ता को समाप्त करने के लक्ष्य की दिशा में काम जारी रखेंगे।
फ्री ट्रेड एग्रीमेंट का इस्तेमाल देशों के बीच ट्रेड को सरल बनाने के लिए किया जाता है। एफटीए के तहत दो देशों के बीच आयात-निर्यात के तहत उत्पादों पर सीमा शुल्क, नियामक कानून, सब्सिडी और कोटा आदि को सरल बनाया जाता है। इसका एक बड़ा फायदा यह होता है कि जिन दो देशों के बीच में यह समझौता होता है, उनकी उत्पादन लागत, बाकी देशों के मुकाबले सस्ती हो जाती है। इससे व्यापार को बढ़ाने में मदद मिलती है और अर्थव्यवस्था को गति मिलती है।
ब्रिटिश हाइकमीशन की विज्ञप्ति के अनुसार, भूतपूर्व प्रधानमंत्री जॉनसन के हवाले से बताया गया था कि भारत ब्रिटेन के बीच मुक्त व्यापार समझौता हो जाने से 2035 तक ब्रिटेन का कुल व्यापार 28 बिलियन पाउंड का हो जाएगा। हाल के समय में ब्रिटेन ने भारत के साथ मिलकर हिंद-प्रशांत में सुरक्षा को बढ़ावा देने की बात भी की है जिसमें नई फाइटर जेट तकनीक, हेलीकॉप्टर और समुद्र के नीचे के युद्धक्षेत्र में सहयोग भी शामिल होगा।